नारनौलः नांगल चौधरी हलके के लिए 44.65 करोड़ की नहरी योजनाएं मंजूर
-सिंचाई के लिए बनेंगे पक्के जल भंडार
-जोहड़ों को नहर से जोड़ने के कार्य को भी मिली मंज़ूरी
नारनौल, 13 जून (हि.स.)। नहर की अंतिम टेल पर स्थित नांगल चौधरी हलके की सूखी भूमि को स्थायी जल व्यवस्था प्रदान करने के लिए हरियाणा सरकार ने 44.65 करोड़ रुपये की सिंचाई योजनाओं को मंज़ूरी दी है। इससे नहरी पानी का भंडारण व सरसों की फसल के लिए सूक्ष्म सिंचाई प्रणाली के माध्यम से फव्वारे द्वारा सिंचाई करने की योजना है।
प्रदेश के सिंचाई मंत्री डा. अभय सिंह यादव ने गुरुवार को बताया कि इससे पूर्व भी लगभग एक दर्जन गांवों में चार एकड़ के क्षेत्र में 15 फुट गहरे तालाबों का निर्माण किया गया है। जिसमें कोरियावास, बशीरपुर, अलीपुर, दौचाना, धानोता, नायन, नारेड़ी, ढाणी सैनियां, थनवास, नेहरू नगर, दताल, कमानियां, बिगोपुर, धोलेड़ा, एवं निजामपुर गांव शामिल हैं। उन्होंने बताया कि इस योजना के तहत वर्षा की ऋतु में पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध होने वाले नहरी पानी का भंडारण किया जाएगा तथा सरसों की फसल के लिए सूक्ष्म सिंचाई प्रणाली के माध्यम से फव्वारे द्वारा सिंचाई करने की योजना है। इसी कड़ी में अब वर्तमान में बलाह कला, गोद, सिरोही बहाली, भुगांरका, ढाणी बिशना (नायन) बनिहाड़ी और जिले के अंतिम छोर पर राजस्थान बॉर्डर के साथ स्थित गोठड़ी समेत इन सभी गांवों में 4 एकड़ क्षेत्र में पक्के जल भंडार बनाए जाएंगे। इसके अतिरिक्त नांगल सोडा, शोभापुर एवं नेहरू नगर, नांगल पीपा, मेघोत बिंजा, थनवास एवं दताल गांवों के जोहड़ों को नहर से जोड़ने के कार्य को भी सरकार से मंज़ूरी मिली है।
मंत्री ने बताया कि इसके साथ ही सरकार ने नांगल चौधरी हलके के गांव आकोली, रामबास, इकबालपुर नंगली एवं बिगोपुर में जल भंडार बनाकर सूक्ष्म सिंचाई प्रणाली से सिंचाई के लिए किसान के खेत तक पानी उपलब्ध करवाने की योजनाओं को लागू किया है।सरकार का प्रयास इस क्षेत्र की जल व्यवस्था को स्थायी समाधान प्रदान करना है। उन्होंने कहा कि वर्षा ऋतु में भंडारण किया गया यह जल रबी की फ़सल के लिए अमृत का काम करेगा तथा फसल को पर्याप्त जल मिलने के उपरांत इन गांवों की अर्थव्यवस्था में व्यापक सुधार होगा। किसान समृद्ध होगा एवं कृषि एक लाभदायक रोज़गार के रूप में आगे बढ़ेगी।
हिन्दुस्थान समाचार/श्याम/संजीव