सोनीपत: आखिर मां-बच्चे की मौत के आरोप में महिला डॉक्टर-नर्स पर केस दर्ज

 




-कैलाश अस्पताल की डॉक्टर निकिता और एक आशा नर्स के खिलाफ केस दर्ज

-खरखौदा में डिलीवरी के दौरान 8 जुलाई 2023 को हुई थी जच्चा-बच्चा की मौत

सोनीपत, 20 अप्रैल (हि.स.)। सोनीपत के खरखौदा में डिलीवरी के दौरान जच्चा महिला व नवजात बच्चे की मौत के मामले में मेडिकल बोर्ड की जांच में नौ महीने बाद खुलासा हो गया है कि मां-बेटे की जान महिला डॉक्टर की लापरवाही व अस्पताल में चिकित्सा सुविधा के अभाव के कारण हुई। पुलिस ने अब इस केस में कार्रवाई करते हुए डाक्टर व नर्स के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है।

मेडिकल बोर्ड द्वारा दी गई जांच रिपोर्ट में बताया गया कि महिला के गर्भाशय की ग्रीवा फट गई थी। यह कठिन केस है और इस आपात स्थिति से निपटने के लिए व्यवस्था नहीं थी। इस रिपाेर्ट के आधार पर पुलिस ने डॉक्टर व नर्स पर केस दर्ज कर लिया है। रिपोर्ट में अस्पताल की व्यवस्था व लापरवाही पर सवाल उठाए हैं। जच्चा- बच्चा की मौत की जांच मेडिकल बोर्ड के चिकित्सकों ने पुलिस को रिपोर्ट दी है कि दोनों की मौत डॉक्टर की लापरवाही व अस्पताल में पर्याप्त इलाज सुविधा न होना जिम्मेदार है। महिला की गर्भाशय ग्रीवा फट गई थी। योनि प्रसव के बाद गर्भाशय का टूटना एक दुर्लभ मामला है। मरीज को समझाया गया था। जरूरत पड़ने पर आपातकालीन स्थिति में सिजेरियन की सहमति ली गई थी, लेकिन अस्पताल में सिजेरियन सेक्शन, पीपीएच प्रबंधन की सुविधा नहीं थी।

जांच में चिकित्सकीय लापरवाही के दोषी करार

पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट के अनुसार मरीज की मृत्यु प्रसवोत्तर रक्तस्राव और उसकी जटिलताओं के कारण हुई। इलाज कर रही डॉ. निकिता और कैलाश अस्पताल उच्च जोखिम गर्भावस्था और पीपीएच की जटिलता का उचित प्रबंधन नहीं करने के लिए चिकित्सकीय लापरवाही के दोषी हैं। कैलाश अस्पताल में सामान्य प्रसव से संबंधित किसी भी आपात स्थिति के प्रबंधन के लिए पैनल पर उचित ऑप्रेशन थिएटर और स्त्री रोग विशेषज्ञ, सर्जन,बाल रोग विशेषज्ञ नहीं हैं।

खरखौदा शहर के वार्ड 15 में एकता चौक निवासी लक्ष्मी उर्फ रीना पत्नी नवीन सैनी को 7 जुलाई 2023 को डिलीवरी के लिए शहर के कैलाश अस्पताल में भर्ती करवाया गया था। रीना ने देर रात 11 बजे एक बच्चे को जन्म दिया था,लेकिन पैदा हुए बच्चे की कुछ देर बाद ही मौत हो गई। डॉक्टरों ने रीना को पीजीआई रोहतक रेफर कर दिया। वहां जांच के बाद चिकित्सकों ने रीना को मृत घोषित कर दिया गया। थाना खरखौदा के एएसआई मुनीष ने बताया कि जच्चा-बच्चा की मौत के लगभग नौ महीने बाद नवीन की शिकायत के आधार पर कैलाश अस्पताल की डॉक्टर निकिता और एक आशा नर्स के खिलाफ केस दर्ज किया है। आरोपियों की जल्द ही गिरफ्तारी की जाएगी।

हिन्दुस्थान समाचार/ नरेंद्र/