स्वामी विवेकानंद की जयन्ती पर प्रधानमंत्री के विकसित भारत अभियान व्याख्यान का लाइव प्रसारण

 






मधुबनी,12 जनवरी,(हि.स.)। सीएम कॉलेज दरभंगा में स्वामी विवेकानंद जी की जयंती शुक्रवार को धूमधाम से मनाई गई। युवा दिवस के अवसर पर विभिन्न प्रतियोगिताओं का भी शुभारम्भ हुआ।

कॉलेज के प्राचार्य डाॅ. मुश्ताक अहमद ने कहा कि विश्व वाङमय में सांस्कृतिक पौराणिक विरासत के चिन्तक स्वनामधन्य स्वामी विवेकानंद की कृतसंकल्पित अवदान आज भी प्रासंगिक है। सीएम कालेज में शुक्रवार को विभिन्न विधाओं की प्रतिस्पर्धात्मक प्रतियोगिता आयोजित हुई। प्राचार्य ने कहा कि छात्र-छात्राओं में सीखने की प्रवृत्ति उन्हें श्रेष्ठ बनाती हैं।

हिन्दी विभागाध्यक्ष अखिलेश कुमार राठौर ने बताया कि स्वामी विवेकानंद मन बुद्धि और हृदय पर विजय प्राप्त करने वाले पुरुष रहे हैं। सीएम कॉलेज दरभंगा में राष्ट्रीय महापुरुष स्वामी विवेकानंद जी की जयंती के अवसर पर युवा दिवस कार्यक्रम के अंतर्गत विभिन्न विधाओं पर प्रतियोगिताओं का आयोजन किया गया। कार्यक्रम के अंतर्गत निबंध, नारा लेखन, चित्रकारी ,भाषण, वाद- विवाद , जन-जागरूकता रैली, शैक्षणिक अध्यापन, रक्तदान , शिविर आयोजन संबंधी अनेक सामाजिक एवं पर्यावरणिक विधा सम्मिलित रहा। छात्र-छात्राओं को महाविद्यालय में भारत सरकार के विकसित भारत अभियान पोर्टल पर प्रधानमंत्री के व्याख्यान का लाइव प्रसारण दिखाया गया। आयोजित कार्यक्रम की झलकियां पोर्टल पर अपलोड किया गया। जिससे छात्र छात्राओं की प्रतिभाओं का प्रचार-प्रसार हो सके।

कॉलेज के प्रधानाचार्य ने युवा दिवस कार्यक्रम के दौरान कहा कि छात्र-छात्राओं में सीखने की प्रवृत्ति उन्हें श्रेष्ठ बनाती है । यदि कोई छात्र स्वामी विवेकानंद की तरह निष्ठा पूर्वक सीखने के लिए जिज्ञासु है। छात्र अपने मन में इस बात को ठान लिया है कि मुझे कुछ नहीं मालूम है। तब उनमें अहंकार की भावना का स्वत: परिशमन हो जाता है। छात्र स्वस्थ शरीर के साथ स्वस्थ मस्तिष्क के द्वारा ज्ञानवर्धन में अग्रणी बनते हैं।

प्रधानाचार्य मुश्ताक अहमद ने कहा कि संसार में जितने भी महापुरुष को जिस-जिस विश्वविद्यालय में पढ़ाया जाता है । उनमें उनके चिंतन और विचार ही महत्वपूर्ण है । एक व्यक्तित्व पदाधिकारी के पद तभी तक रहते हैं जब तक वह सेवानिवृत्त नहीं हुए हैं। लेकिन जो महापुरुष चिंतक, विचारक, समाज सुधारक एवं समाज सेवक हैं। उनका प्रभाव देशकाल, परिस्थिति के अनुरूप प्रासंगिक होते जाता है। महापुरुष अनेक अनेक लोगों के अनुसरण करने योग्य बनते हैं। इसलिए स्वामी विवेकानंद जी के सारे किताबों में केवल शिकागो के संभाषण को ही यदि पढ़ लिया जाए तो विश्व बंधुत्व के दर्शन को समझा जा सकता है।

प्रधानाचार्य ने कार्यक्रम के आयोजन के लिए भारत सरकार, विश्वविद्यालय प्रशासन और महाविद्यालय के आयोजक इकाई सहित समस्त शिक्षकों एवं समस्त छात्रों को युवा दिवस की शुभकामनाऍं संप्रेषित की। युवा दिवस पर आयोजित विभिन्न विधाओं के शुभारंभ कार्यक्रम के अवसर पर कार्यक्रम का संचालन करते हुए हिंदी विभागाध्यक्ष अखिलेश कुमार राठौर ने कहा कि स्वामी विवेकानंद महापुरुष हैं । युवाओं के प्रेरणा स्रोत हैं। युवाओं के प्रतिभाओं को निखारने , विभिन्न विधाओं में पारंगत होने और स्वावलंबन बनने में विवेकानंद से संबंधित प्रेरक प्रसंग महत्वपूर्ण हैं ।

राजनीति विज्ञान के प्रोफेसर डॉ आलोक रंजन ने कहा कि छात्र-छात्राओं में विभिन्न विधाओं पर कार्यक्रम आयोजित होने के उत्साह देखने को मिला। युवाओं में यह उत्साह उमंग सदैव बरकरार रहना चाहिए।धन्यवाद ज्ञापन करते हुए समाजशास्त्र के प्रो संजीव कुमार ने कहा कि स्वामी विवेकानंद जी विश्व बंधुत्व की बात करते थे। इसलिए उनके धर्म, दर्शन , इतिहास और समाज में समान महत्व है।

हिन्दुस्थान समाचार/डा लम्बोदर /चंदा