पंश्चिम बंगाल कोयला घोटाला : जांच की आंच पहुंची चंदौली, 3 दिन से डेरा डाले हुए CBI की टीम

पश्चिम बंगाल स्थित कोयला खदानों से अवैध तरीके से कोयला निकालकर बेचे जाने की तपिश नगर स्थित चंदासी कोल मंडी में भी पहुंच गई है। सूत्रों के अनुसार कोयले को अवैध तरीके से खरीदने और बेचने के मामलें में मुगलसराय कोतवाली में दो कोल व्यवसायियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया जा गया है। जानकारी के मुताबिक इस मामले की जांच सीबीआई कर रही है। इसके लिए दिल्ली से आई सीबीआई की चार सदस्यीय टीम तीन दिनों से नगर में डेरा डाले हुए हैं। टीम मुकदमें के आधार पर तथ्यों को खंगालने में जुट गई है।
 

पीडीडीयू नगर संवाददाता : धर्मेन्‍द्र कुमार

चंदौली। पश्चिम बंगाल स्थित कोयला खदानों से अवैध तरीके से कोयला निकालकर बेचे जाने की तपिश नगर स्थित चंदासी कोल मंडी में भी पहुंच गई है। सूत्रों के अनुसार कोयले को अवैध तरीके से खरीदने और बेचने के मामलें में मुगलसराय कोतवाली में दो कोल व्यवसायियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया जा गया है। जानकारी के मुताबिक इस मामले की जांच सीबीआई कर रही है। इसके लिए दिल्ली से आई सीबीआई की चार सदस्यीय टीम तीन दिनों से नगर में डेरा डाले हुए हैं। टीम मुकदमें के आधार पर तथ्यों को खंगालने में जुट गई है।

पश्चिम बंगाल स्थित कोयला खदानों से अवैध तरीके से कोयला निकालकर बेचे जाने के मामले में जांच के दौरान झारखंड से ‌सीबीआई की टीम ने ‌कई व्यापारियों के यहां से कई दस्तावेज जब्त किये थे। इसके बाद सीबीआई ने दो व्यापारियों को कोलकाता पूछताछ के लिए बुलाया था। सूत्रों के अनुसार इस मामले में मुगलसराय कोतवाली में दोनों कोल व्यवसायियों के खिलाफ एक मुकदमा भी पंजीकृत किया गया है, जिसकी जांच करने दिल्ली से सीबीआई की चार सदस्यीय टीम आई हुई है। सूत्र बतातें हैं कि पिछले तीन दिन से सीबीआई टीम के अधिकारी पूरे खेल की तह तक जाने में जुटे हुए है। 

बता दें कि पिछले दिनों कस्टम की टीम ने भी विदेशी कोयले को खरीदने और फर्जी तरीके से नेपाल भेजने के आरोप में कई व्यापारियों के यहां दस्तावेजों के खंगाला था। सीबीआई और कस्टम की छापेमारी के बाद से कोयला मंडी का व्यापार संदेह के दायरे में आ गया है। कोलमंडी के व्यापारियों में दहशत का माहौल है। बता दें कि बंगाल कोल स्कैम की जांच सीबीआई कर रही है। 

दरअसल झारखंड के धनबाद और पश्चिम बंगाल के आसनसोल, पुरुलिया, बांकुरा रेंज में कोयले की खदानें भरी पड़ी हैं। यहां पर कई ऐसी खदानें हैं जो बिना टेंडर के ऐसे ही पड़ी हुई हैं या बंद पड़ी हुई हैं। जानकारों की माने तो ईसीएल (Eastern Coalfield Limited) की खदानें भी यहां है। इस अवैध कोयले का व्यापार अरबों रुपयों का माना जाता है। सीबीआई ने 27 नवंबर, 2020 को ईस्टर्न कोलफील्ड लिमिटेड (ईसीएल) के कई अफसरों और कर्मचारियों के साथ ही सीआईएसएफ और रेलवे के अज्ञात अधिकारियों के खिलाफ केस दर्ज किया था। साथ ही मामले में बंगाल के कई बड़े सफेदपोश के भी नाम प्रकाश में आये हैं। 

आरोप है कि ईसीएल, सीआईएसएफ, भारतीय रेलवे और संबंधित अन्य विभागों के अधिकारियों की सक्रिय मिलीभगत से ईसीएल के लीजहोल्ड क्षेत्र से कोयले की चोरी की गई। सीबीआई की यह एफआईआर मई, 2020 में ईसीएल के कई लीज एरिया पर टास्क फोर्स की रेड के बाद दर्ज की गई थी। इस रेड के दौरान अवैध खनन और स्मलिंग में प्रयुक्त वाहनों और उपकरणों की एक बड़ी संख्या को जब्त किया गया था। सूत्र बताते है कि इसी कड़ी को जोड़ते हुए सीएबीआई की टीम चंदासी कोल मंडी तक पहुची थी और मुग़लसराय कोतवाली में दर्ज दोनों मुकदमे की जांच पर नजर बनाए हुए है।