चंदौली : देवखत के वाल्मीकि सेवा संस्थान में 100 विद्यार्थियो के लिए बनेगा छात्रावास, हुआ भूमिपूजन 

अति पिछड़े नौगढ़ इलाके में शिक्षा की अलख जगाने की मुहिम में जुटे देवखत स्थित बाल्मीकि सेवा संस्थान में 100 आदिवासी छात्र-छात्राओं के लिए छात्रावास बनेगा। विश्व हिंदू परिषद के अंतरराष्ट्रीय कार्याध्यक्ष आलोक कुमार ने शुक्रवार को संस्थान परिसर में इसके लिए भूमि पूजन किया। बाकायदा शंखनाद, हवन-पूजन व नारियल फोड़कर विधिविधान से छात्रावास निर्माण के लिए नीव रखी गई। एक साल पहले नौगढ़ के दौरे पर आए सीएम योगी आदित्यनाथ ने इसकी घोषणा की थी।  
 

चंदौली। अति पिछड़े नौगढ़ इलाके में शिक्षा की अलख जगाने की मुहिम में जुटे देवखत स्थित बाल्मीकि सेवा संस्थान में 100 आदिवासी छात्र-छात्राओं के लिए छात्रावास बनेगा। विश्व हिंदू परिषद के अंतरराष्ट्रीय कार्याध्यक्ष आलोक कुमार ने शुक्रवार को संस्थान परिसर में इसके लिए भूमि पूजन किया। बाकायदा शंखनाद, हवन-पूजन व नारियल फोड़कर विधिविधान से छात्रावास निर्माण के लिए नीव रखी गई। एक साल पहले नौगढ़ के दौरे पर आए सीएम योगी आदित्यनाथ ने इसकी घोषणा की थी।  

अंतरराष्ट्रीय कार्याध्यक्ष ने कहा, इलाके में जब नक्सलवाद चरम पर था, जब राधेश्याम द्विवेदी के साथ अशोक सिंघल यहां आए थे। श्री द्विवेदी ने एक छोटी सी झोपड़ी में रहकर सेवा भाव के मुहिम की शुरूआत की। उनकी संकल्पना के रूप में आज वाल्मीकि सेवा संस्थान फलफूल रहा है। आज यहां बहुत बड़ा कार्य हो रहा है। सेवा के मार्ग से सैकड़ों कार्यकर्ता जुड़े हैं। 

छात्रावास बनाए जाने से वनवासी और दूरदराज गांव के छात्र छात्राओं को आगे बढ़ने का मौका मिलेगा। पिछले साल जनपद दौरे पर आए मुख्यमंत्री ने गरीब बालिक-बालिकाओं के लिए घोषणा की थी। सभी के सहयोग से अतिपिछड़े इलाके में शिक्षा व समाज सेवा की अलख जगाई जा रही। वनांचल की बालिकाएं पढ़-लिखकर माता-पिता व इलाके के नाम रोशन करेंगी। संस्थान अगले तीन वर्षों में क्षेत्र के 50 गांव में प्रत्यक्ष रूप से कोई न कोई सेवा कार्य के माध्यम से शिक्षा व संस्कार जगाने का काम करेगा। मुगलसराय विधायक साधना सिंह ने कहा वनांचल की गरीब बालिकाओं को अब शिक्षा के लिए इधर-उधर भटकना नहीं पड़ेगा। 

मुख्यमंत्री के सराहनीय कदम से गांव की बेटियां भी पढ़ लिख कर क्षेत्र का नाम रोशन करेंगी। सावन में नौगढ़ आने का मौका मिला। विशिष्ट अतिथि आनंद प्रकाश हरबोला, गजेंद्र सिंह ने अपने संबोधन में शिक्षा, स्वास्थ्य, स्वालंबन व महिलाओं की शिक्षा पर जोर दिया। राधेश्याम द्विवेदी ने संस्थान की ओर से किए जा रहे कार्यों के बारे में जानकारी दी। संस्थान के कार्याध्यक्ष अनिल नारायण किंजवाडेकर, कोषाध्यक्ष सतीशचंद जैन, मंत्री अवधबिहारी मिश्र ने मुख्य अतिथि को अंगवस्त्रम व स्मृति चिह्न प्रदान किया।