वाराणसी :  कथा वाचक ने श्रोताओं को बताई श्रीमद् देवी भागवत की महिमा 

अनंत श्री विभूषित स्वामी भूमानंद तीर्थ महाराज के 31वें निर्वाण दिवस के अवसर पर केदारघाट स्थित भूमा अध्यात्म पीठम मठ में संत अच्युतानंद तीर्थ महाराज के सानिध्य में श्रीमद् देवी भागवत पुराण कथा का आयोजन किया जा रहा है। कथा के छठें दिन कथा वाचक वेद प्रकाश शुक्ला ने श्रोताओं को देवी भागवत की महिमा बताई। 
 

वाराणसी। अनंत श्री विभूषित स्वामी भूमानंद तीर्थ महाराज के 31वें निर्वाण दिवस के अवसर पर केदारघाट स्थित भूमा अध्यात्म पीठम मठ में संत अच्युतानंद तीर्थ महाराज के सानिध्य में श्रीमद् देवी भागवत पुराण कथा का आयोजन किया जा रहा है। कथा के छठें दिन कथा वाचक वेद प्रकाश शुक्ला ने श्रोताओं को देवी भागवत की महिमा बताई। 

उन्होंने कहा कि जगत के सृष्टि कार्य में जो उत्पत्तिरूपा रक्षा कार्य में पालन शक्तिरूपा एवं संहार कार्य में जो रौद्ररूपा हैं, वहीं परा व अपरा विविध स्वरूपों में जगत में अभिव्यक्त होती हैं। समस्त तीर्थ पुराण और व्रत तभी श्रेष्ठता का वर्णन व फलदायी होता है। जब तक मनुष्य श्रीमद् भागवत का सम्यक रूप से श्रवण नहीं कर लेता है। मनुष्यों के लिए पाप रूपी समय तभी तक दुखप्रद एवं कंटकमय रहता है। जब तक श्रीमद् देवीभागवत रूपी पुण्य उपलब्ध नहीं होता है।

कथा के प्रारंभ में व्यासपीठ का पूजन सुमन कुठियाला ने किया। इस अवसर पर रामाश्रम महाराज प्रयागराज सर्वेश्वर ब्रह्मचारी संयोजक पं सतीश चंद्र मिश्र, वशिष्ठ उपाध्याय, सुनील केष्टवाल, अश्वनी खत्री, दीपक तिवारी आदि रहे।