वाराणसी :  विषमुक्त खाद्यान्न चाहिए तो जैविक खेती अपनाएं किसान, विशेषज्ञों ने किया जागरूक 

चिरईगांव ब्लाक के अमौली ग्राम पंचायत में नमामि गंगे योजना के तहत शनिवार को कृषि विभाग एवं सिंफेड की ओर से जैविक कृषि मेला व गोष्ठी का आयोजन किया गया। इसमें किसानों को जैविक खेती अपनाने के लिए प्रेरित किया गया। 
 

वाराणसी। चिरईगांव ब्लाक के अमौली ग्राम पंचायत में नमामि गंगे योजना के तहत शनिवार को कृषि विभाग एवं सिंफेड की ओर से जैविक कृषि मेला व गोष्ठी का आयोजन किया गया। इसमें किसानों को जैविक खेती अपनाने के लिए प्रेरित किया गया। 

सहायक विकास अधिकारी कृषि डा. राजशेखर ने कहा कि विषमुक्त खाद्यान्न के लिए किसानों को जैविक खेती को अपनाना होगा। खेतों की मिट्टी में घटते जीवांश की मात्रा को बढ़ाने के लिए हरी खाद, वर्मी कम्पोस्ट से निर्मित गोबर की खाद का प्रयोग करें। जैविक उत्पाद से अच्छी आमदनी कर सकते हैं। प्राविधिक सहायक अमित सिंह ने कीटनाशक दवाओं के बदले बीजामृत, जीवामृत, निमास्त्र,दसपर्णी अर्क आदि घर पर तैयार कर फसलों पर छिड़कने के बारे में बताया। 

बीटीएम अनिल सिंह ने कृषि विभाग से संचालित योजनाओं की जानकारी दी। जैविक खेती से जुड़े प्रवीण नागर, गुलाब पटेल, नागेन्द्र सिंह आदि किसानों ने अपने अनुभव साझा किए। संस्था के ब्लॉक प्रोजेक्ट प्रभारी ऋषिकेश ने आठों ब्लॉक के किसानों की ओर से लगाए जैविक उत्पाद को देख उनकी सराहना भी की। कार्यक्रम की अध्यक्षता भाजपा के पूर्व मण्डल अध्यक्ष इन्द्रजीत सिंह ने किया। मेले में मनोज प्रजापति, प्रेमशंकर चौबे, दिनेश, सुरेन्द्र सिंह, कन्हैया यादव, हरिशंकर मौर्य, प्रमोद निषाद आदि किसान मौजूद रहे।