वाराणसी : अब आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं व सहायिकाओं को मिलेगा आयुष्मान भारत योजना का लाभ, पांच लाख तक मुफ्त इलाज की सुविधा
वाराणसी। महिला एवं बाल विकास मंत्रालय के अंतर्गत बाल विकास सेवा एवं पुष्टाहार विभाग ने आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायिकाओं के लिए खुशखबरी दी है। अब उन्हें भी आयुष्मान भारत - प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना का लाभ प्रदान किया जाएगा। भारत सरकार ने विभाग की समस्त कार्यरत आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायिकाओं को आयुष्मान भारत योजना का लाभ दिलाने के लिए समस्त राज्यों को पत्र जारी कर अवगत कराया है। आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं व सहायिकाओं को पांच लाख तक के मुफ्त इलाज की सुविधा मिलेगी।
जिला कार्यक्रम अधिकारी (डीपीओ) दिनेश कुमार सिंह ने बताया कि मिशन पोषण 2.0 को सुदृढ़ीकरण और बढ़ावा देने के लिए विभाग ने यह पहल की है। वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए अंतरिम बजट में आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं के लिए स्वास्थ्य बीमा कवरेज के प्रावधान किए गए हैं। महिला एवं बाल विकास मंत्रालय ने आश्वस्त किया है कि सरकार ने देशभर की सभी आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायिकाओं को शामिल करने के लिए आयुष्मान भारत योजना के कवरेज का विस्तार किया है। यह पहल सभी आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायिकाओं को चिकित्सा देखभाल के लिए सालाना पांच लाख रुपये तक का स्वास्थ्य कवरेज प्रदान करेगा।
जिला कार्यक्रम अधिकारी ने बताया कि जनपद की करीब 7000 आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायिकाओं को आयुष्मान भारत योजना का लाभ दिया जाएगा। योजना के तहत इन सभी आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायिकाओं का आयुष्मान कार्ड बनाया जाएगा। यह कार्ड जनपद के किसी भी जन सेवा केन्द्रों और सम्बद्ध सरकारी अस्पतालों में बनाया जा रहा है। गूगल प्ले स्टोर पर मौजूद आयुष्मान एप और बैनिफिशियरी आइडेंटिफिकेशन सिस्टम (बीआईएस) पोर्टल के माध्यम से भी आयुष्मान कार्ड बनाया जा सकता है।
जिला कार्यक्रम अधिकारी ने बताया कि सक्षम आंगनबाड़ी और पोषण 2.0 (मिशन पोषण 2.0) के तहत आंगनबाड़ी केंद्रों पर वितरण सहायता प्रणालियों को सुदृढ़ बनाने और पारदर्शिता लाने के लिए सूचना प्रौद्योगिकी प्रणालियों का लाभ उठाया गया है। महिला एवं बाल विकास मंत्रालय द्वारा 1 मार्च, 2021 को 'पोषण ट्रैकर' एप्लीकेशन शुरू किया गया था। आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को स्मार्टफोन के साथ तकनीकी रूप से सशक्त बनाया गया है। मोबाइल एप्लीकेशन ने आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं द्वारा उपयोग किए जाने वाले रजिस्टरों को डिजिटल और स्वचालित कर दिया है जिससे उनके काम की गुणवत्ता में सुधार करने में भी मदद मिली है। पोषण अभियान के अंतर्गत, सर्वप्रथम एक डिजिटल क्रांति की शुरुआत हुई, जब आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को मोबाइल उपकरणों से सशक्त बनाया गया। सरकार ने मिनी आंगनबाड़ी केन्द्रों को नियमित आंगनबाड़ी केंद्रों में अपग्रेड करने के आदेश जारी किए हैं।