प्रधानों ने प्रधानमंत्री के 9 संकल्पों को पूरा करने का लिया संकल्प, विकसित भारत के लिए गांवों में कराएंगे गुणवत्तापूर्ण काम
वाराणसी। जनपद समेत आसपास के जिलों के 500 से ज्यादा प्रधानों ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के 9 संकल्पों को पूरा करने के लिए सामूहिक रूप से प्रतिज्ञा ली। भारत को 2047 तक विकसित बनाने के लिए गांवों में गुणवत्तापूर्ण विकास कार्य कराने के प्रति प्रतिबद्धता जताई। सरपंच क्वॉलिटी काउंसिल ऑफ इंडिया (QCI) की ओर से आयोजित 'सरपंच संवाद' पहल के तहत प्रधान इकट्ठा हुए। कार्यक्रम में वाणिज्य और उद्योग राज्य मंत्री अनुप्रिया पटेल की उपस्थिति रही। वहीं क्वॉलिटी काउंसिल ऑफ इंडिया के अध्यक्ष जक्षय शाह भी मौजूद रहे।
इस मौके पर राज्य मंत्री ने ग्राम प्रधानों को सशक्त बनाने पर जोर दिया। उन्होंने कहा, "इस गौरव काल के दौरान पीएम द्वारा शुरू विकसित भारत संकल्प यात्रा में योगदान देने में गाँव महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। QCI की सरपंच संवाद पहल गांव के प्रधानों को जमीनी स्तर पर विकास को बढ़ावा देने के लिए आवश्यक जानकारी और संसाधनों से जोड़कर विकसित भारत यात्रा में योगदान देने के लिए एक सशक्त माध्यम के रूप में कार्य करती है। गांवों के निर्माण में मात्र बुनियादी ढांचे का ही निर्माण नहीं करना है, बल्कि हमे एक मजबूत और समावेशी समाज का भी निर्माण करना है, जहां प्रत्येक नागरिक भारतीय गांवों को गुणवत्तापूर्ण गांवों में बदलने की दिशा में काम करने के लिए एक दूसरे को प्रेरित करते हुए आगे बढ़ सकें।
क्वॉलिटी काउंसिल ऑफ इंडिया के अध्यक्ष जक्षय शाह ने ग्रामीण विकास में गुणवत्ता के महत्व पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा, गौरव काल में हमें विकसित भारत की ओर प्रेरित करने के लिए गुणवत्ता को शहरी केंद्रों से आगे बढ़कर हमारे ग्रामीण समुदायों के दिल तक पहुंचाना महत्त्वपूर्ण है। सरपंच संवाद पहल के माध्यम से हम शिक्षा, स्वास्थ्य देखभाल, स्वच्छता और डिजिटल साक्षरता जैसे विषयों पर ध्यान केंद्रित करते हुए देश भर के सरपंचों को उनके गांवों में जीवन की गुणवत्ता में सुधार करने के लिए उपकरणों और सर्वोत्तम कार्यप्रणालियों से लैस कर रहे हैं। हमने पूरे भारत में लगभग 2.5 लाख सरपंचों का एक डिजिटल नेटवर्क बनाने के उद्देश्य से सरपंच संवाद मोबाइल ऐप बनाया है। यह ऐप जानकारी साझा करने और सहयोग को बढ़ावा देने के लिए एक विशेष और यूजर फ्रेंडली एकीकृत मंच प्रदान करता है। कार्यक्रम में प्रधानों की ओर से पैनल चर्चाएं भी हुईं। सभी प्रधानों ने ग्रामीण विकास में अपनी सफलता की कहानियां और सर्वोत्तम प्रथाओं को साझा किया। इन कहानियों में आत्मनिर्भरता, सामुदायिक जुडाब, टिकाऊ प्रथाओं और डिजिटल पहल के पहलुओं को शामिल किया गया है। इस चर्चा ने अन्य प्रतिभागियों के लिए सभी क्षेत्रों में 'गुणवत्ता प्रथाओं' को अपनाने के लिए प्रेरणा स्रोत के रूप में कार्य किया। सरपंचों के बीच हुई इस चर्चा में ग्रामीण परिवर्तन को आगे बढ़ाने में सहयोग और जानकारी साझा करने के महत्व का प्रदर्शन हुआ।