जयंती पर याद किए गए डा. आदित्यनाथ झा, संपूर्णानंद विश्वविद्यालय के पहले कुलपति की संभाली थी जिम्मेदारी
वाराणसी। सम्पूर्णानन्द संस्कृत विश्वविद्यालय के तुलनात्मक धर्म दर्शन और मैथिल समाज उत्तर प्रदेश के संयुक्त तत्वावधान में विश्वविद्यालय के प्रथम कुलपति पद्म विभूषण डॉक्टर आदित्यनाथ झा की जयंती समारोह पूर्वक मनाई गई। इस दौरान उन्हें श्रद्धांजलि दी गई। वहीं उनके व्यक्तित्व को याद किया गया।
इस दौरान तुलनात्मक धर्म दर्शन विभाग के प्रोफेसर एवं महात्मा गांधी अंतरराष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति प्रो. रजनीश कुमार शुक्ला ने कहा कि आदित्यनाथ झा डॉ .संपूर्णानंद और पंडित कमलापति का जन्म काशी में हुआ था। इस विश्वविद्यालय के निर्माण में काशी की इन तीनों विभूतियों की महनीय भूमिका है। एक संस्कृत कालेज से संस्कृत विश्वविद्यालय के रूप में परिणित हुए इस विश्वविद्यालय का जो भौतिक स्वरूप दिख रहा है। उसके निर्माण में इस विश्वविद्यालय के प्रथम कुलपति ही नहीं, बल्कि उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव, दिल्ली के प्रथम उपराज्यपाल जैसे पदों को सुशोभित करने वाले पद्म विभूषण डॉक्टर आदित्यनाथ झा की महान भूमिका है।
मुख्य अतिथि काशी हिन्दू विश्वविद्यालय के प्रोफेसर शंकर मिश्र ने कहा कि डॉ. आदित्यनाथ झा जैसे महनीय व्यक्तित्व के जयंती समारोह कार्यक्रम में शामिल होना भी हम सभी का सौभाग्य हो। हमें ऐसे महापुरुष से प्रेरणा लेनी चाहिए। कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. बिहारी लाल शर्मा ने कहा कि आदित्य नाथ झा एक व्यक्ति नहीं बल्कि एक विचार थे। इन्होंने आईसीएस परीक्षा में अपने विशेष प्रतिभा के बल पर संपूर्ण विश्व में प्रथम स्थान प्राप्त किया वह जहां कुशल प्रशासक थे उतने ही योग्य विद्वान थे।
उन्होंने कहा कि जीतने योग्य विद्वान थे, उतने सहृदय व्यक्ति भी थे। इन्हीं की प्रेरणा से यह संस्था महाविद्यालय से विश्वविद्यालय के रूप में अवस्थित हुई। आदित्यनाथ अच्छा इस बात को समझते थे कि भारत की आत्मा संस्कृत है। हमें ऐसे महापुरुष के प्रति कृतज्ञ होना चाहिए। संचालन कार्यक्रम के संयोजक प्रोफेसर हरि प्रसाद अधिकारी व धन्यवाद ज्ञापन सामाजिक विज्ञान के प्रो. शैलेश कुमार मिश्र ने किया। कार्यक्रम में प्रोफेसर सुधाकर मिश्र , डॉ. गिरीश दत्त पाण्डेय, प्रोफेसर महेन्द्र पाण्डेय, अखिलेश कुमार मिश्र, मैथिल समाज से गौतम कुमार झा, निरसन कुमार झा, काशी पत्रकार संघ के अध्यक्ष डॉ. अत्रि भारद्वाज, सुधीर चौधरी आदि की उपस्थिति रही। अतिथियों का स्वागत स्मृति चिन्ह, अंगवस्त्र और मैथिली पगड़ी ने किया।