BHU के शोध छात्र एवं शिक्षक को वैश्विक डिजाइन प्रतियोगिता में प्रथम पुरस्कार, डिजाइन में अयोध्या की दिखी भव्यता

बीएचयू के व्यावहारिक कला विभाग, दृश्य कला संकाय के शोध छात्र राहुल कुमार साव और शिक्षक डॉ. मनीष अरोड़ा को सयुंक्त रूप से वैश्विक डिजाइन प्रतियोगिता (अमूर्त चित्रकला, मूर्तिकला और भित्ति चित्रकला) के अमूर्त चित्रकला (abstract Painting) में प्रथम पुरस्कार दिया गया है। पुरस्कार के तौर पर 2 लाख रुपये की धनराशि मंगलवार को अयोध्या विकास प्राधिकरण, सिविल लाइन, अयोध्या में मंडलायुक्त गौरव दयाल एवं अश्विनी कुमार पांडेय, उपाध्यक्ष, अयोध्या विकास प्राधिकरण की संयुक्त उपस्थिति मे प्रदान किया गया।
 

वाराणसी। बीएचयू के व्यावहारिक कला विभाग, दृश्य कला संकाय के शोध छात्र राहुल कुमार साव और शिक्षक डॉ. मनीष अरोड़ा को सयुंक्त रूप से वैश्विक डिजाइन प्रतियोगिता (अमूर्त चित्रकला, मूर्तिकला और भित्ति चित्रकला) के अमूर्त चित्रकला (abstract Painting) में प्रथम पुरस्कार दिया गया है। पुरस्कार के तौर पर 2 लाख रुपये की धनराशि मंगलवार को अयोध्या विकास प्राधिकरण, सिविल लाइन, अयोध्या में मंडलायुक्त गौरव दयाल एवं अश्विनी कुमार पांडेय, उपाध्यक्ष, अयोध्या विकास प्राधिकरण की संयुक्त उपस्थिति मे प्रदान किया गया।

इस वैश्विक डिजाइन प्रतियोगिता में भारत तथा अन्य देशों के डिजाइनर एवं कलाकारों ने बढ़-चढ़ कर प्रतिभाग किया। इसका मुख्य विषय अयोध्या को वैश्विक आध्यात्मिक राजधानी के तौर पर पुनर्स्थापित करना था। प्रतियोगिता के नियम अनुसार डॉ. मनीष एवं राहुल द्वारा प्रस्तावित डिजाइन में अयोध्या के मुख्य चार पथ (राम पथ, जन्मभूमि पथ, भक्ति पथ, धर्म पथ) के लिए अमूर्त कला के चित्र श्रेणी में भक्तों की भावनाओं तथा श्री राम के विचारों पर काम किया गया जिससे कि वे श्री राम को, उनके जन्म स्थान अयोध्या को,और उनके विचारधारा एवं जीवन मूल्यों को कैसे देखते हैं और सामन्य जन कैसे इससे प्रेरित होते हैं। 

हम जानते हैं कि अयोध्या न केवल राम की नगरी है, बल्कि आध्यात्मिकता, पर्यटन, श्रेष्ठ विचार और नव -भव्य जीवन की वैश्विक राजधानी भी है। इन सारे तथ्यों पर शोध करके ये डिजाइन प्रस्तावित किया गया था।