वाराणसी : निवेश में मुनाफे का लालच देकर महिला डॉक्टर से 1.93 करोड़ की ठगी करने वाले गिरोह का सरगना लखनऊ से गिरफ्तार, 5 लाख नकदी, मोबाइल और कार बरामद

निवेश के नाम पर महिला चिकित्सक के 1.93 करोड़ रुपये की ठगी करने वाले गिरोह का सरगना पुलिस के हत्थे चढ़ गया। पुलिस ने उसे लखनऊ के थाना गुडम्बा क्षेत्र से गिरफ्तार किया। उसके पास से घटना में प्रयुक्त मोबाइल फोन, बैंकों के एटीएम कार्ड, पासबुक, 5 लाक 1 हजार 350 रुपये नकदी के साथ ही चार पहिया वाहन बरामद किया गया। पुलिस उससे पूछताछ कर पूरे रैकेट का पता लगाने में जुटी है। 
 

वाराणसी। निवेश के नाम पर महिला चिकित्सक के 1.93 करोड़ रुपये की ठगी करने वाले गिरोह का सरगना पुलिस के हत्थे चढ़ गया। पुलिस ने उसे लखनऊ के थाना गुडम्बा क्षेत्र से गिरफ्तार किया। उसके पास से घटना में प्रयुक्त मोबाइल फोन, बैंकों के एटीएम कार्ड, पासबुक, 5 लाक 1 हजार 350 रुपये नकदी के साथ ही चार पहिया वाहन बरामद किया गया। पुलिस उससे पूछताछ कर पूरे रैकेट का पता लगाने में जुटी है। 

डीसीपी प्रमोद कुमार ने बताया कि सिगरा थाना क्षेत्र के स्वास्तिक पैराडाइज बिल्डिंग निवासी अंशिता जैन पत्नी क्षितिज जैन ने साइबर क्राइम थाना में मुकदमा दर्ज कराया था। उन्होंने बताया था कि निवेश पर भारी मुनाफे का लालच देकर जालसाजों ने उनके 1.93 करोड़ रुपये ठग लिए। इस पर थाना साइबर क्राइम पर मु0अ0सं0 15/2025 धारा 318(2), 318(4), 61(2), 317(2) BNS & 66D IT ACT पंजीकृत किया गया। इसकी विवेचना प्रभारी निरीक्षक विजय नारायण मिश्रा द्वारा संपादित की जा रही है।

अपर पुलिस उपायुक्त श्रुति श्रीवास्तव और सहायक पुलिस आयुक्त विजय प्रताप सिंह के नेतृत्व मे एक टीम का गठन कर उक्त घटना के अनावरण हेतु निर्देशित किया गया। पुलिस टीम द्वारा जनपद लखनऊ के अलग- अलग स्थानों पर अलग-अलग पतारसी सुरागरसी की गई। काफी प्रयास के बाद 01 शातिर साइबर साइबर अपराधी को जनपद लखनऊ के थाना गुडम्बा क्षेत्र से आरोपित रोमिल वर्मा पुत्र सुरेश वर्मा निवासी ग्राम हाजीपुर पोस्ट बसारा थाना महुली जनपद सीतापुर को गिरफ्तार किया। उसके कब्जे से मुकदमा उपरोक्त की घटना मे प्रयुक्त मोबाइल फोन, विभिन्न बैंको के एटीम कार्ड, पासबुक तथा 5,01,350/- रूपया नकद व एक अदद चार पहिया वाहन किया सोनेट बरामद किया गया।

ऐसे करते थे अपराध
साइबर अपराधियों द्वारा विभिन्न लोगों का उनका बैंक खाता गेमिंग एप्लीकेशन में चलाने तथा उसमे क्रेडिट पैसों का अच्छा परसेन्टेज देने का हवाला देते हुए अपने झांसे में फंसाकर विभिन्न बैंको के फर्जी/म्यूल बैंक खाते प्राप्त किए जाते है। इन बैंक खातों को अपने विदेशी साथी इन्वेस्टमेंट फ्राड व डिजिटल अरेस्ट से सम्बन्धित कार्य करने वाले साइबर अपराधियों को भेजकर उसमे फ्राड की धनराशि मंगवायी जाती है। प्राप्त पैसों को अन्य विभिन्न बैंक खातो में ट्रान्सफर कर कैश निकाल लिया जाता है तथा अपने कार्य के अनुसार अवैध रूप से लाभ प्राप्त किया जाता है। 


पुलिस टीम में प्रभारी निरीक्षक विजय नारायण मिश्र, निरीक्षक राजकिशोर पाण्डेय, विपिन कुमार, संजीव कनौजिया, उपनिरीक्षक सतीश सिंह, एसएसआई श्याम लाल गुप्ता, हेड कांस्टेबल गोपाल चैहान, रजनीकान्त, गौत्तम कुमार, राजेन्द्र कुमार पाण्डेय, कांस्टेबल चन्द्रशेखर यादव, पृथ्वीराज सिंह, सूर्यभान सिंह, अनिल मौर्य, मनीष कुमार सिंह, जितेन्द्र मौर्य, अंकित कुमार प्रजापति, अवनीश सिंह, धर्मेन्द्र कुमार यादव, जतिन कुमार, त्रिलोकी कुमार, विश्वजीत राय, रविन्द्र यादव, महिला कांस्टेबल प्रीति सिंह, अंकिता सिंह, संगीता देवी, विजय कुमार शामिल रहे।