घाटों और मोहल्लों में सीवर सफाई में लापरवाही पर जलनिगम को नोटिस, शासन को जाएगा पत्र 

नगर आयुक्त ने घाटों व आसपास के मोहल्लों में सीवर सफाई में लापरवाही बरतने पर नगर आयुक्त ने जल निगम के खिलाफ सख्त रूख अख्तियार किया है। उन्होंने जल निगम के अधीक्षण अभियंता को फटकार लगाते हुए नोटिस जारी की है। वहीं अधिकारियों की जिम्मेदारी व जवाबदेही तय करते हुए प्रकरण से शासन को अवगत कराने की चेतावनी दी है। 
 

- मलजल के शोधन को लगाए गए ट्रीटमेंट प्लांट का सही ढंग से नहीं हो रहा संचालन
- मणिकर्णिका मशाननाथ मंदिर में भर गया था सीवर का पानी, घाट पर बह रहा गंदा पानी
- लापरवाही पर नगर आयुक्त नाराज, जल निगम के खिलाफ शासन को पत्र भेजने की चेतावनी    

वाराणसी। नगर आयुक्त ने घाटों व आसपास के मोहल्लों में सीवर सफाई में लापरवाही बरतने पर नगर आयुक्त ने जल निगम के खिलाफ सख्त रूख अख्तियार किया है। उन्होंने जल निगम के अधीक्षण अभियंता को फटकार लगाते हुए नोटिस जारी की है। वहीं अधिकारियों की जिम्मेदारी व जवाबदेही तय करते हुए प्रकरण से शासन को अवगत कराने की चेतावनी दी है। 

नगर आयुक्त ने गंगा नदी के किनारे घाटों व आस-पास के क्षेत्रों से निकलने वाले मल-जल के शोधन के लिए लगाए गए विभिन्न ट्रीटमेन्ट प्लान्ट के संचालन, रख-रखाव उचित प्रकार से न करने पर नाराजगी व्यक्त की है। गत दिनों पाण्डेय घाट पर सीवर ओवरफ्लो होने के कारण गंदा पानी घाट पर बहने की समस्या पायी गयी थी। इस पर नगर आयुक्त ने जल निगम के अधिशासी अभियन्ता को निस्तारण हेतु अवगत कराया गया, परन्तु अधिशासी अभियन्ता ने समयान्तर्गत समस्या का निस्तारण नहीं किया। नगर आयुक्त ने जारी नोटिस में मणिकर्णिका घाट स्थित बाबा महाश्मशाननाथ मंदिर में सीवर का पानी भर जाने की समस्या का उल्लेख किया है। समस्या संज्ञान में आने के बावजूद जल निगम के अधिकारियों ने गंभीरता से नहीं लिया। 

मानमहल घाट पर भी लगभाग चार माह से सीवर समस्या है, परन्तु जल निगम ने इस सम्बन्ध मे कोइ ठोस कार्रवाई नहीं की। नगर आयुक्त के पत्र में घाट सीवर जैसी महत्वपूर्ण मूलभूत व्यवस्था प्रभावित करने एवं नगर की सुन्दरता को खराब करने पर जिम्मेदारी निर्धारित करते हुये जल निगम के अधिशासी अभियन्ता, सहायक अभियन्ता एवं अवर अभियन्ता को शिथिल कार्यप्रणाली, कार्यो में लापरवाही बरतने, दायित्यों का निर्वहन न करने पर फटकार लगायी गयी है। साथ ही नगर आयुक्त ने घाटों पर सीवर बहने जैसी आपात स्थिति को निस्तारित करने के लिए 24 घंटे हेतु ‘‘त्वरित प्रक्रिया दल’’ (क्वीक रिसपान्स टीम) तैयार कर तैनात करने के निर्देश दिए हैं।