CAA पर अरविंद केजरीवाल के बयान को लेकर काशी के संतों में आक्रोश, जितेंद्रानंद सरस्वती बोले – माफ़ी मांगें दिल्ली CM

 
वाराणसी। CAA को लेकर देश की सियासत में भूचाल आया हुआ है। एक ओर जहां सत्ता pपक्ष के लोग केंद्र सरकार द्वारा लागू किए गए इस कानून का समर्थन कर रहे हैं। वहीं विपक्षी दल इसका विरोढ कर रहे हैं। इसी क्रम में दिल्ली के मुख्यमंत्री व आम आदमी पार्टी के मुखिया अरविंद केजरीवाल ने CAA पर विवादित बयान देकर सियासी हलचल तेज कर दी है। इस बयान का काशी के संत जबरदस्त तरीके से विरोध कर रहे हैं। 

अखिल भारतीय संत समिति के राष्ट्रीय महामंत्री स्वामी जितेंद्रानंद सरस्वती ने अरविंद केजरीवाल के बयान पर कड़ी प्रतिक्रिया दी है। जितेंद्रानंद सरस्वती ने कहा कि जिस प्रकार ममता बनर्जी बनर्जी, विजयन, एमके स्टालिन और अरविंद केजरीवाल ने बयानबाजी की है, यह भारत के प्रति इनकी खतरनाक प्रवृति दर्शाता है।

जितेंद्रानंद ने कहा कि क्या धर्म के आधार पर भारत में पहला कानून बना है? इस देश के विभाजन का आधार ही धर्म रहा है। 1947 में जब मुसलमानों ने कहा कि हम हिंदुओं के साथ नहीं रह सकते तब पाकिस्तान और बांग्लादेश जैसे राष्ट्रों के निर्माण हुआ। यह दोनों देश बने तो सेकुलर थे, लेकिन कालांतर में दोनों इस्लामिक राष्ट्र बन गए। है। जिस प्रकार अरविंद केजरीवाल ने यह कहा कि अफगानिस्तान, बांग्लादेश, पाकिस्तान के हिंदुओं के आने से भारत में छिनैती, हत्या और बलात्कार की घटनाएं बढ़ेंगी और हमारे बच्चों के रोजगार छीनकर करके उनको दे दिए जाएंगे। हम अरविंद केजरीवाल से पूछना चाहते हैं कि दुनिया भर में कितने हिन्दू, बौद्ध, सिख जैन, ये अपराध में कितने संलिप्त हैं? 

स्वामी जितेंद्रानंद सरस्वती ने आगे कहा कि भारत के आपराधिक रिकॉर्ड में जेलों में बंद अपराधियों किस जाति और धर्म से हैं, अरविंद केजरीवाल को स्पष्ट करना चाहिए। साथ ही जो नेशनल क्राइम ब्यूरो के आंकड़े भी धर्म के आधार पर सार्वजनिक किए जाने चाहिए। जिस प्रकार हिंदू समाज के ऊपर आरोप लगाकर, पूरे दुनिया के हिंदुओं को चोर डकैत और बलात्कारी ठहराने का प्रयास किया गया है, वह घोर निंदनीय है। अरविंद केजरीवाल को नजर नहीं आता क्या कि अफगानिस्तान से किस प्रकार सिख भाई गुरु ग्रंथ साहब को अपने सर पर लेकर के एयरपोर्ट पर भारत में उतरे थे।

उन्होंने कहा कि हिंदू समाज के साथ जिस प्रकार इन लोगों ने खुला नंगा नाच करने का प्रयास किया है और जो कुछ संदेशखाली में हुआ है, वह भी गौरतलब है कि इस में देखा जाना चाहिए कि बांग्लादेश और म्यांमार से आए हुए रोहिंग्या कि उपद्रवियों ने घोषित रूप से बांग्लादेशी नागरिक शेख शाहजहां पर कोई कार्यवाही नहीं हुई। 

अगर धर्म पर बहस पर बन ही आई है तो CAA के बहाने इन सारी बातों का खुलासा होना चाहिए। उन्होंने आगे कहा कि अरविंद केजरीवाल जब तक क्षमा नहीं मांगते हैं, हिंदू समाज से तब तक हिंदू समाज उन्हें माफ नहीं करने वाला। उन्हें बताना होगा कि पूरी दुनिया में हिंदुओं ने कहां अपराध किए हैं। पूरी दुनिया में इस्लामिक आतंकवाद का नंगा नाच का सपोर्ट करने वाले ये लोग और हिंदुओं को आतंकवादी ठहरा कर हिंदू आतंकवाद की परिभाषा गढ़ने का एक बार फिर कुत्सित प्रयास और षड्यंत्र कर रहे हैं। अखिल भारतीय संत समिति बर्दाश्त नहीं करेगी।

CAA पर अरविंद केजरीवाल ने क्या कहा...

बता दें कि अरविंद केजरीवाल ने CAA पर विवादित बयान दिया है। जिसमें उन्होंने कहा कि इस कानून के लागू होने से पाकिस्तान के लोग भारत आएंगे, ये कितना सुरक्षित होगा। चोरी, बलात्कार, डकैती और दंगे बढ़ेंगे। अगर आपके घर के पास पाकिस्तान, बांग्लादेश से लोग आकर झुग्गी बनाकर रहने लगे तो क्या आप पसंद करोगे? अरविंद केजरीवाल के इस बयान पर सियासी घमासान मचा हुआ है।