मिर्जामुराद में बीएससी छात्रा की हत्या के बाद बवाल, परिजनों और ग्रामीणों ने हाईवे पर किया चक्का जाम, समझाने में जुटी पुलिस 

मिर्जामुराद थाना क्षेत्र के रूपापुर गांव स्थित एक ढाबे में बीएससी की छात्रा की नृशंस हत्या के बाद गुरुवार सुबह आक्रोश फूट पड़ा। पीड़िता के परिजनों संग सैकड़ों ग्रामीणों ने मेहंदीगंज के पास नेशनल हाईवे पर छात्रा का शव रखकर चक्का जाम कर दिया। इस दौरान पुलिस के खिलाफ नारेबाजी करते हुए आरोपियों की शीघ्र गिरफ्तारी की मांग की। सूचना के बाद पहुंची पुलिस लोगों को समझाने में जुटी रही। 
 

वाराणसी। मिर्जामुराद थाना क्षेत्र के रूपापुर गांव स्थित एक ढाबे में बीएससी की छात्रा की नृशंस हत्या के बाद गुरुवार सुबह आक्रोश फूट पड़ा। पीड़िता के परिजनों संग सैकड़ों ग्रामीणों ने मेहंदीगंज के पास नेशनल हाईवे पर छात्रा का शव रखकर चक्का जाम कर दिया। इस दौरान पुलिस के खिलाफ नारेबाजी करते हुए आरोपियों की शीघ्र गिरफ्तारी की मांग की। सूचना के बाद पहुंची पुलिस लोगों को समझाने में जुटी रही। 

बुधवार को रूपापुर में नेशनल हाईवे किनारे एक ढाबे के कमरे में 22 वर्षीय छात्रा अलका बिंद का शव बेड पर पड़ा मिला। उसके गले पर धारदार हथियार से वार किया गया था। छात्रा मिर्जामुराद क्षेत्र के मेहंदीगंज गांव की रहने वाली थी और बीएससी की पढ़ाई कर रही थी। पुलिस को आशंका है कि हत्या से पहले उसके साथ जबरदस्ती का प्रयास किया गया और विरोध करने पर उसकी गला रेतकर हत्या कर दी गई।

घटना की जानकारी मिलते ही मौके पर डीसीपी गोमती जोन आकाश पटेल, एडीसीपी वैभव बांगर, एसीपी राजातालाब अजय श्रीवास्तव, मिर्जामुराद थाना प्रभारी प्रमोद पांडेय समेत दो थानों की फोर्स, फॉरेंसिक टीम और डॉग स्क्वायड पहुंची और जांच शुरू की थी। वहीं गुरुवार सुबह परिजन और ग्रामीण आक्रोशित हो गए और छात्रा का शव लेकर नेशनल हाईवे पर पहुंचे। उन्होंने रास्ता जाम कर दिया और घंटों तक प्रदर्शन किया। 

चक्काजाम की सूचना के बाद मौके पर पहुंचे एसीपी अजय श्रीवास्तव ने काफी देर तक प्रदर्शनकारियों को समझाने की कोशिश की, लेकिन लोग गिरफ्तारी की मांग पर अड़े रहे। पुलिस ने मृतका के पिता चंद्रशेखर बिंद की तहरीर पर विधान बसेरा ढाबा के मालिक प्रगट नारायण सिंह, ढाबा मैनेजर विकास समेत अन्य के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज कर लिया है। पुलिस टीम आरोपियों की गिरफ्तारी में जुट गई है। ग्रामीणों ने चेतावनी दी है कि जब तक आरोपियों की गिरफ्तारी नहीं होती, तब तक आंदोलन जारी रहेगा।