30 नवंबर को केसीआर की 'पिछड़ा वर्ग विरोधी' सरकार को उखाड़ फेंकने की जरूरत : मोदी
नई दिल्ली, 7 नवंबर (हि.स.)। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने तेलंगाना में के. चंद्रशेखर राव के नेतृत्व वाली सरकार और कांग्रेस को ‘पिछड़ा वर्ग (बीसी) विरोधी’ करार दिया। उन्होंने कहा कि कांग्रेस और बीआरएस के डीएनए में तीन चीजें वंशवाद, भ्रष्टाचार और तुष्टीकरण समान हैं। उन्होंने लोगों से अपील करते हुए कहा कि 30 नवंबर को तेलंगाना विधानसभा चुनाव में बीसी विरोधी सरकार को उखाड़ फेंकने की जरूरत है।
मोदी ने आज हैदराबाद में 'बीसी आत्म गौरव सभा' (पिछड़ा वर्ग स्वाभिमान सभा) की एक सार्वजनिक बैठक को संबोधित किया। उन्होंने इस दौरान पानी, पैसा और रोजगार जैसे उन मूलभूत मुद्दों के बारे में बात की, जिनके कारण तेलंगाना का गठन हुआ। उन्होंने अपनी चिंता व्यक्त करते हुए कहा कि तीनों मोर्चों पर तेलंगाना के लोगों के साथ धोखा हुआ है। मोदी ने कहा कि तेलंगाना में ओबीसी, एससी और एसटी की महत्वपूर्ण आबादी के बावजूद राज्य सरकार ने लगातार बीसी (पिछड़ा वर्ग) के हितों की अनदेखी की।
उन्होंने कहा कि बीआरएस और कांग्रेस अलग-अलग नहीं हैं बल्कि ये एक ही सिक्के के दो पहलू हैं। उन्होंने कहा, “कांग्रेस और बीआरएस के डीएनए में तीन चीजें समान हैं। एक है वंशवाद, दूसरा है भ्रष्टाचार और तीसरा है भाई-भतीजावाद। इन वंशवादी पार्टियों की शरण में भ्रष्टाचार पनपता है और अवसर केवल इनके रिश्तेदारों को ही मिलते हैं। वंशवाद की मानसिकता से प्रेरित होकर बीआरएस और कांग्रेस यहां कभी भी किसी बीसी को मुख्यमंत्री नहीं बनने देंगे।”
मोदी ने देश भर में ओबीसी के उत्थान और प्रतिनिधित्व के लिए भाजपा की प्रतिबद्धता पर जोर दिया। उन्होंने कहा, “जब भाजपा को मौका मिला तो उसने आदिवासी समुदाय से द्रौपदी मुर्मू को राष्ट्रपति बनाया। वंशवादी पार्टियां कभी भी किसी दलित, पिछड़े या आदिवासी को प्रमुखता से उभरने नहीं देतीं। आज, भाजपा देश की एकमात्र पार्टी है जो ओबीसी समुदाय को सबसे अधिक प्रतिनिधित्व प्रदान करती है।”
उन्होंने कहा, “केंद्र की एनडीए सरकार में 27 ओबीसी मंत्री हैं, जो आजादी के बाद सबसे ज्यादा हैं। आज देश में भाजपा के 85 ओबीसी सांसद हैं। देश की विभिन्न राज्यों की विधानसभाओं में भाजपा के 365 ओबीसी विधानसभा सदस्य हैं। आज देश में भाजपा के 65 ओबीसी विधान परिषद सदस्य हैं।”
राज्य सरकार पर कड़ा प्रहार करते हुए मोदी ने कहा, “2019 के लोकसभा चुनाव में तेलंगाना के लोगों ने ऐसे अहंकारी सीएम को अपने वोट की ताकत से जवाब दिया था। इसी हताशा में यहां के नेता मोदी को गाली देते रहते हैं। बीआरएस के भ्रष्टाचार के तार दिल्ली के शराब घोटाले से जुड़े हैं। जब एजेंसियों ने इनके भ्रष्टाचार की जांच शुरू की तो इन लोगों ने जांच एजेंसियों का भी दुरुपयोग करना शुरू कर दिया।”
उन्होंने अपना हमला जारी रखते हुए कहा, “बीआरएस और कांग्रेस अलग-अलग नहीं हैं। बीआरएस सात दशकों में कांग्रेस द्वारा विकसित परिवारवाद और भ्रष्टाचार के मॉडल का अनुसरण कर रहा है। इन दोनों का इरादा मिलकर राज्य की संपत्ति को लूटना है। ये दोनों पार्टियां अपने बेटे-बेटियों को आगे बढ़ाने में लगी हैं, उन्हें आपके बेटे-बेटियों की परवाह नहीं है।”
हिन्दुस्थान समाचार/सुशील/दधिबल