गुजरात-भूटान के संबंध बने और भी घनिष्ठः 5 वर्षों में गुजरात से निर्यात में 52 फीसदी की वृद्धि
-भूटान को प्लास्टिक उत्पाद, इलेक्ट्रिक मशीनरी, सिरेमिक उत्पाद और दवाइयों का निर्यात करता है गुजरात
अहमदाबाद, 22 जुलाई (हि.स.)।भारत के पड़ोसी देश भूटान के नरेश महामहिम जिग्मे खेसर नामग्याल वांगचुक और प्रधानमंत्री शेरिंग तोबगे अभी भारत के दौरे पर हैं। इस दौरे के अंतर्गत वे अपने प्रतिनिधिमंडल के साथ गुजरात में एकता नगर स्थित स्टैच्यू ऑफ यूनिटी पहुंचे। भारत के ग्रोथ इंजन के रूप में प्रतिष्ठित गुजरात राज्य के साथ भूटान के घनिष्ठ संबंध स्थापित हो चुके हैं।
भूटान गुजरात के साथ व्यापारिक संबंधों को विकसित करने के लिए तत्पर रहा है, और इस उद्देश्य से वर्ष 2014 में भूटान के एक उच्च स्तरीय प्रतिनिधिमंडल ने गुजरात का दौरा किया था। इसके परिणामस्वरूप पिछले कुछ वर्षों में गुजरात से भूटान में होने वाले निर्यात में लगातार वृद्धि हुई है। राज्य सरकार की ओर से दिए गए आंकड़ों के अनुसार वर्ष 2019-20 में गुजरात से 14.39 मिलियन यूएस डॉलर के उत्पादों का निर्यात हुआ था, जो वर्ष 2023-24 में बढ़कर 21.98 मिलियन यूएस डॉलर पर पहुंच गया है। इस प्रकार, पिछले पांच वर्षों में निर्यात में 52 फीसदी की वृद्धि देखी गई है।
गुजरात से निर्यात के आंकड़े (यूएस मिलियन डॉलर में)
2019-20 - 14.39
2020-21 - 14.85
2021-22 - 19.70
2022-23 - 19.22
2023-24 - 21.98
गुजरात से निर्यात किए जाने वाले शीर्ष उत्पादों में प्लास्टिक उत्पाद, इलेक्ट्रिक मशीनरी और उपकरण, सिरेमिक उत्पाद, मछली, पेपर और पेपर उत्पाद तथा दवाइयां शामिल हैं। ये केवल आंकड़ों में हुई वृद्धि नहीं है, बल्कि उत्पादों की विविधता में भी वृद्धि हुई है।
प्रधानमंत्री की भूटान यात्राओं से द्विपक्षीय संबंध हुए मजबूत
वर्ष 2014 में प्रधानमंत्री बनने के बाद नरेन्द्र मोदी ने जून महीने में सबसा पहला विदेश दौरा भूटान का किया था। उन्होंने भूटान के साथ द्विपक्षीय संबंधों को और अधिक मजबूत करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। इस वर्ष मार्च महीने में प्रधानमंत्री ने फिर से भूटान का दौरा कर ‘पड़ोसी प्रथम नीति’ की प्राथमिकता को दर्शाया। इस दौरे के दौरान उन्होंने अद्यतन चाइल्ड हॉस्पिटल का उद्घाटन किया। इसके अलावा, उन्होंने भूटान की 13वीं पंचवर्षीय योजना के लिए 10 हजार करोड़ रुपए के पैकेज की घोषणा की। इस दौरे के दौरान भूटान के प्रधानमंत्री श्री शेरिंग तोबगे ने उन्हें ‘मित्र और बड़ा भाई’ के रूप में संबोधित करते हुए भूटान के सर्वोच्च नागरिक सम्मान ‘ऑर्डर ऑफ द ड्रुक ग्यालपो’ से सम्मानित किया था।
भूटान के साथ भारत का व्यापार तीन गुना बढ़ा
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के गहन प्रयासों के कारण भारत और भूटान के बीच व्यापार में भी उल्लेखनीय वृद्धि देखने को मिली है। आयात और निर्यात, दोनों क्षेत्रों में भूटान के साथ भागीदारी में भारत सबसे ऊपर है। भारत का भूटान के साथ व्यापार (बिजली को छोड़कर) वर्ष 2014-15 में 484 मिलियन यूएस डॉलर था, जो तीन गुना की बढ़ोतरी के साथ वर्ष 2022-23 में 1606 मिलियन यूएस डॉलर हो गया है। भूटान में भारत की लगभग 30 कंपनियां बैंकिंग, मैन्युफैक्चरिंग, विद्युत उत्पादन, कृषि-खाद्य प्रसंस्करण, फार्मा, आईटीईएस, आतिथ्य और शिक्षा सहित विभिन्न क्षेत्रों में कार्यरत हैं।
हिन्दुस्थान समाचार
हिन्दुस्थान समाचार / बिनोद पाण्डेय / प्रभात मिश्रा