पोषण की कमी और गैर-संचारी रोग रोकने के लिए आईसीएमआर ने जारी की खान-पान को लेकर सलाह
नई दिल्ली, 08 मई (हि.स.)। पोषक तत्वों की कमी और मोटापा, मधुमेह, ह्रदयघात जैसी गैर-संचारी रोगों को रोकने के लिए भारतीय आयुविर्ज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) ने बुधवार को स्वस्थ आहार के सेवन के लिए दिशा-निर्देश जारी किया है। बुधवार को एक कार्यक्रम में आईसीएमआर के महानिदेशक डॉ राजीव बहल ने पोषण अनुसंधान संस्थान केसहयोग से तैयार आहार संबंधी दिशा-निर्देश (डीजीआई) जारी किए हैं। यह सलाह देश के सभी आयु वर्ग के लोगों को ध्यान में रख कर तैयार किया गया है।
पोषक आहार दिशा-निर्देश में ऐसी वैज्ञानिक जानकारी दी गई है जिसमें पोषक तत्वों की आवश्यकताओं के साथ आहार से संबंधित गैर-संचारी रोगों (मोटापा, हृदय रोग, मधुमेह) को रोकने के लिए अपने भोजन और जीवन शैली में शामिल करने की सलाह दी गई है। इसके साथ इसमें शारीरिक गतिविधियों को बढ़ावा देने पर भी जोर दिया गया है। यह आहार को लेकर दिए गए दिशा-निर्देश आईसीएमआर के वेबसाइट से डाउनलोड किया जा सकता है।
आईसीएमआर-एनआईएन की निदेशक डॉ हेमलता आर. के नेतृत्व में तैयार किए गए डीजीआई को सार्वजनिक डोमेन में लाने से पहले कठोर शैक्षणिक और वैज्ञानिक समीक्षा की गई है।
इस मौके पर आईसीएमआर के महानिदेशक राजीव बहल ने कहा कि पिछले कुछ दशकों में भारतीयों की आहार संबंधी आदतों में महत्वपूर्ण बदलाव आए हैं, जिससे गैर-संचारी रोगों की व्यापकता में वृद्धि हुई है, जबकि अल्पपोषण की कुछ समस्याएं अब भी बनी हुई है। इन दिशानिर्देशों को भारत में बदलते खाद्य परिदृश्य के लिए बहुत प्रासंगिक बना दिया गया है, जिसमें खाद्य सुरक्षा से निपटने के लिए न्यूनतम प्रसंस्कृत खाद्य पदार्थ चुनने, खाद्य लेबल के महत्व और शारीरिक गतिविधि पर व्यावहारिक संदेश शामिल हैं।
हिन्दुस्थान समाचार/विजयलक्ष्मी/आकाश