भारत का इथोपिया से दो हजार साल पुराना रिश्ताः मोदी

 


अदीस अबाबा, 17 दिसंबर (हि.स.)। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा है कि भारत का इथियोपिया से दो हजार साल पुराना रिश्ता है। दोनों देशों ने द्विपक्षीय संबंधों को रणनीतिक साझेदारी तक ले जाने का फैसला किया है।

प्रधानमंत्री मोदी अपनी तीन देशों की यात्रा के दूसरे चरण में इथोपिया में हैं। प्रधानमंत्री मोदी ने इथोपिया की संसद के संयुक्त सत्र को बुधवार को संबोधित करते हुए कहा कि भारत और इथियोपिया की जलवायु और भावना दोनों में गर्मजोशी है।

उन्होंने कहा, ''भारतीय कंपनियां इथोपिया में सबसे बड़े निवेशकों में से हैं। उन्होंने अलग-अलग सेक्टरों में पांच बिलियन डॉलर से अधिक का निवेश किया है। 75000 से अधिक नौकरी पैदा की हैं। हमने भारत-इथियोपिया द्विपक्षीय संबंधों को रणनीतिक साझेदारी तक ले जाने का फैसला किया है।''

मोदी ने वैश्विक दक्षिण के उभार का उल्लेख करते हुए विश्व को संदेश दिया कि अतीत में अटकी व्यवस्थाओं से आगे बढ़ना संभव नहीं है। उन्होंने इथोपिया को क्षेत्रीय शांति, सुरक्षा और संपर्क के क्षेत्र में स्वाभाविक मित्र बताया।

प्रधानमंत्री मोदी ने भारत और इथोपिया को क्षेत्रीय शांति, सुरक्षा और संपर्क के क्षेत्र में स्वाभाविक मित्र बताया। उन्होंने कहा कि इथोपिया में अफ्रीका जाने का मार्ग है और वहीं भारत हिंद महासागर के बीच में बसा है।

उन्होंने अपने भाषण में इस बात का विशेष उल्लेख किया कि भारत और इथोपिया के राष्ट्रगीत में जमीन को मां के रूप में देखा गया है। उन्होंने इथोपिया का ‘ग्रेट ओनर निशान ऑफ़ इथियोपिया’ प्राप्त करने पर आभार प्रकट किया।

प्रधानमंत्री ने उल्लेख किया कि पिछले 11 वर्षों में भारत और अफ्रीका के बीच संबंधों में कई गुना प्रगति हुई है। भारत के डिजिटल सार्वजनिक ढांचे ने सेवाओं को लोगों तक पहुंचाने के तरीके को पूरी तरह से बदल दिया है। भारत ने 150 से ज्यादा देशों को दवायें और वैक्सीन पहुंचाई है यह हमारे लिए गर्व का विषय है कि हमने इथोपिया को भी 40 लाख वैक्सीन खुराक के मुहैया कराई।

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि अदीस और धोलेरा जैसे बंदरगाह सिर्फ व्यापार केंद्र नहीं थे, बल्कि सभ्यताओं के बीच पुल थे। आधुनिक समय में, हमारे रिश्ते एक नए युग में प्रवेश करते हैं, जब 1941 में भारतीय सैनिकों ने इथोपिया की आजादी के लिए इथोपियाई लोगों के साथ मिलकर लड़ाई लड़ी।

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि इस शानदार बिल्डिंग में आपके कानून बनते हैं। यहीं लोगों की सहमति राज्य की मर्जी बनती है और जब राज्य की मर्जी लोगों की सहमति से मिलती है, तो परियोजनाओं का पहिया आगे बढ़ता है। मोदी ने अपना भाषण पूरा करने के बाद इथोपियाई सांसदों से मुलाकात की।-------------

हिन्दुस्थान समाचार / अनूप शर्मा