वाराणसी : धान की आधुनिक प्रजातियों की खेती करें किसान, होगा भरपूर उत्पादन 

vns
WhatsApp Channel Join Now

वाराणसी। अंतरराष्ट्रीय चावल अनुसंधान संस्थान और कृषि विज्ञान केंद्र वाराणसी के संयुक्त तत्वावधान में गुरुवार को धान के कैफ़ेटेरिया का मूल्यांकन एवं प्रक्षेत्र दिवस का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का उद्घाटन केंद्र के वरिष्ठ वैज्ञानिक एवं अध्यक्ष डॉक्टर नरेंद्र रघुबंशी ने किया। उन्होंने केंद्र की गतिविधियों से अवगत कराया। साथ ही इरी एवं कृषि विज्ञान केंद्र के सामूहिक प्रयास से किसानों को लाभ पहुंचाने की बात कही। 

केंद्र के वैज्ञानिक डॉक्टर अमितेश कुमार सिंह ने आईआरआरआई -सार्क वाराणसी के सहयोग से केंद्र पर चल रहे धान का क्रॉप कैफ़ेटेरिया और किसानों के प्रक्षेत्र पर प्रदर्शन और मिनी किट परीक्षण पर विस्तार से चर्चा किया। IRRI-SARC- वाराणसी से डॉ. सर्वेश शुक्ला, श्री रबिन्द्र मोहराना और कृषि विज्ञान केंद्र वाराणसी से डॉ. नरेंद्र रघुबंशी, डॉ. मनीष पाण्डेय और डॉ. अमितेश सिंह की टीम ने केन्द्र पर धान का क्रॉप कैफ़ेटेरिया में कुल 20 प्रजातियों का मूल्यांकन किया। इसमें धान की प्रजाति पीआर -126, स्वर्ना समृद्धि,एम.टी.यू-1156, उत्तर सोना, BRRI-75, राजेंद्र सरस्वती, सी. ओ. 56 और तेलंगाना सोना का प्रदर्शन सर्वोत्तम रहा। डॉ. शुक्ला ने बताया की इन सभी धान की चयनित प्रजातियों का बीज उत्पादन करा के अधिक से अधिक किसानों तक उत्तम बीज उपलब्ध कराकर लाभान्वित किया गया।

विभिन्न उन्नतशील एवं नयी प्रजातियों के प्रदर्शन को किसानों ने बहुत सराहा। इस अवसर किसान, बीज विक्रेता एफपीओ के सदस्य सहित लगभग दर्जनों लोग उपस्थित रहे।

हमारे टेलीग्राम ग्रुप को ज्‍वाइन करने के लि‍ये  यहां क्‍लि‍क करें, साथ ही लेटेस्‍ट हि‍न्‍दी खबर और वाराणसी से जुड़ी जानकारी के लि‍ये हमारा ऐप डाउनलोड करने के लि‍ये  यहां क्लिक करें।

Share this story