शिव नाडर फाउंडेशन के शिक्षा प्लस कार्यक्रम के तहत बड़ागांव ब्लॉक में 37 जन शिक्षकों और 3 फील्ड कोऑर्डिनेटरों को वयस्क साक्षरता प्रशिक्षण

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वाराणसी। वयस्क साक्षरता को बढ़ावा देने और शिक्षा से वंचित वयस्कों को मुख्यधारा से जोड़ने के उद्देश्य से शिव नाडर फाउंडेशन के सहयोग से संचालित शिक्षा प्लस कार्यक्रम के तहत बड़ागांव ब्लॉक में सात दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित किया गया। यह प्रशिक्षण ग्राम पंचायत बारहीकला स्थित पंचायत भवन में संपन्न हुआ, जिसमें कुल 37 जन शिक्षकों और 3 फील्ड कोऑर्डिनेटरों ने प्रतिभाग किया।

यह प्रशिक्षण जनमित्र न्यास द्वारा आयोजित किया गया, जिसका संचालन शिव नाडर फाउंडेशन के अनुभवी प्रशिक्षक श्री भुवन जी ने किया। उन्होंने प्रतिभागियों को वयस्क शिक्षा के आधुनिक और प्रभावी तरीकों के बारे में विस्तार से समझाया तथा बताया कि किस प्रकार नवाचारी शिक्षण विधियों के माध्यम से वयस्कों को पढ़ना-लिखना और गणना करना सरल बनाया जा सकता है। प्रशिक्षण के दौरान ऑडियो-विज़ुअल माध्यमों, डिजिटल कंटेंट और व्यवहारिक गतिविधियों के उपयोग पर विशेष बल दिया गया।

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शिव नाडर फाउंडेशन का शिक्षा प्लस कार्यक्रम उन वयस्कों को शिक्षा से जोड़ने की एक महत्वपूर्ण पहल है, जो किसी कारणवश औपचारिक शिक्षा प्राप्त नहीं कर सके। इस कार्यक्रम के माध्यम से वयस्कों में न केवल साक्षरता का विकास किया जा रहा है, बल्कि आत्मनिर्भरता और आत्मविश्वास भी बढ़ाया जा रहा है। यह प्रयास सतत विकास लक्ष्यों (SDG) की दिशा में एक ठोस कदम माना जा रहा है, विशेषकर गरीबी उन्मूलन, लैंगिक समानता और सामाजिक समावेशन जैसे उद्देश्यों की प्राप्ति में यह कार्यक्रम उल्लेखनीय भूमिका निभा रहा है।

कार्यक्रम के दौरान जनमित्र न्यास की ट्रस्टी श्रीमती श्रुति नागवंशी ने प्रशिक्षक श्री भुवन जी को उनके उत्कृष्ट योगदान के लिए सम्मानित किया। उन्होंने अपने संबोधन में कहा कि शिक्षा प्लस कार्यक्रम वयस्क शिक्षा के क्षेत्र में परिवर्तनकारी सिद्ध हो रहा है तथा इसे आने वाले समय में और अधिक ग्राम पंचायतों तक विस्तार देने की योजना है। उन्होंने बताया कि इससे पूर्व कठिराव और बरजी ग्राम पंचायतों में इस कार्यक्रम को सफलतापूर्वक लागू किया जा चुका है, जहां 1989 वयस्कों को साक्षर बनाया गया है।

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कार्यक्रम के अंत में जनमित्र न्यास की ओर से रिंकू पाण्डेय ने सभी प्रतिभागियों, प्रशिक्षकों और सहयोगी संस्थाओं के प्रति धन्यवाद ज्ञापित किया। उन्होंने कहा कि इस प्रकार की पहलें वयस्क शिक्षा को जमीनी स्तर पर मजबूत बनाती हैं और समाज को आत्मनिर्भर और जागरूक बनाने में महत्वपूर्ण योगदान देती हैं।

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