दोषपूर्ण जीवन शैली व खान-पान से बढ़ी रही लीवर की समस्या, बरेका में चिकित्सकों ने किया आगाह
वाराणसी। बरेका स्थित केंद्रीय चिकित्सालय सभागार में लीवर क्लिनिक व फाइब्रो स्कैन जांच शिविर का आयोजन किया गया। मुख्य चिकित्साधिकारी डा. देवेश कुमार ने इसका शुभारंभ किया। इस दौरान लीवर की बीमारी को लेकर विस्तार से चर्चा हुई। इससे बचाव और उपचार का तरीका भी बताया।
मुख्य। चिकित्साो अधिकारी ने बताया कि आज कल दोषपूर्ण खान-पान व जीवनशैली से लीवर की बीमारी हो रही है। अल्ट्राासाउण्ड जांचों में बढ़े हुए लीवर का रिपोर्ट काफी संख्याल में आने लगी है। इससे मरीजों को मानसिक तनाव हो रहा है। फाइब्रो स्कैचन जांच से लीवर के लचीलेपन का मापन कर अल्कोमहल संबंधी बीमारी, पित्ता बीमारी, हेपेटाइटिस तथा फैटी लिवर संबंधी बीमारी की वस्तुमस्थिति का पता कर सही समय पर समुचित उपचार करने में सहायता मिलती है तथा इसके दुष्प्रतभाव जैसे लीवर में सूजन, फाइब्रोसिस, ट्यूमर तथा कंजेशन की रोकथाम की जा सकती है।
बरेका चिकिसालय के डा. एसके मौर्या, वरिष्ठो मंडल चिकित्साभ अधिकारी ने रोगियों व उनके परिजनों को लीवर की बीमारियों की रोकथाम तथा प्रारंभिक उपचार पर स्वारस्य्िष शिक्षा प्रदान किया। शिविर में कुल 124 व्यथक्तियों ने अपने लीवर की जांच की गई। सुजीत मिश्रा एवं अमन शर्मा ने फाइब्रोस्कैकन का कार्य किया। इस दौरान डा. सुनील कुमार अपर मुख्यस चिकित्साम अधीक्षक/प्रशा., गीता कुमारी चौधरी सहायक नर्सिंग अधिकारी, अंजना टौड, एलिस कुजूर मुख्यअ नर्सिंग सुपरिटेन्डेान्टी, दुर्गेश नन्दरन श्रीवास्तंव ईसीजी टेक्नीतशियन, हास्पि टल अटेन्डे्न्टन संजय कुमार, शिव कुमार, राकेश कुमार चौधरी के अतिरिक्तर मनीष कुमार सिंह सदस्यत कर्मचारी परिषद बरेका एवं संदीप गुप्ता ने उपस्थिति दर्ज कर कार्यक्रम को सफल बनाने में भूमिका निभाई।
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