वाराणसी : करखियांव में 26 स्वतंत्रता सेनानियों का बनेगा संग्रहालय, 20 करोड़ से होगा निर्माण

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- 51 फीट ऊंचा शहीद स्तंभ बताएगा अमर सेनानियों की वीर गाथा 
- तालाब के पास गेमिंग जोन और फूड कोर्ट का कराया जाएगा निर्माण
- पर्यटन विभाग ने प्रस्ताव बनाकर शासन को भेजा, मंजूरी मिलने का इंतजार 

वाराणसी। देश के स्वतंत्रता आंदोलन में अमूल्य योगदान देने वाले वीर सपूतों की याद में करखियांव में संग्रहालय का निर्माण कराया जाएगा। करखियांव गांव के वीर सपूतों की यादें उनके गांव में सहेजने के लिए पर्यटन विभाग ने पहल की है। इसके लिए 20 करोड़ का प्रस्ताव बनाकर शासन को भेज दिया है। शासन से मंजूरी मिलने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी। 

करखियांव के 26 सेनानियों ने देश की आजादी के आंदोलन में अतुलनीय योगदान दिया था। पर्यटन विभाग उनकी यादों को संजोने के लिए गांव में संग्रहालय का निर्माण कराएगा। 20 करोड़ रुपये की लागत से करखियांव में संग्रहालय बनेगा। वहीं तालाब के पास शहीद स्तंभ, फूड कोर्ट का निर्माण कराया जाएगा। इसके अलावा पाथवे भी बनेगा। 51 फीट ऊंचे शहीद स्तंभ पर शान से तिरंगा फहरा जाएगा। 

उपनिदेशक पर्यटन आरके रावत ने बताया कि इसके लिए 20 करोड़ का प्रस्ताव बनाकर शासन को भेजा गया है। जल्द ही प्रस्ताव को हरी झंडी मिल सकती है। संग्रहालय में सेनानियों की आदमकद तस्वीरें लगाई जाएंगी। ताकि सेनानियों के बारे में जानकारी दी जा सके। मुख्य मार्ग से म्यूजियम तक लिंक रोड, प्रकाश के लिए सोलर पैनल, बेंच, वाचनालय और शौचालय की सुविधा मुहैया कराई जाएगी। 

पहले स्वतंत्रता संग्राम से लेकर आजादी मिलने तक करखियांववासी अंग्रेजों के सामने मुखर रहे। गांव की सुरसती देवी, कलावती देवी, गीतांजली देवी, नौरंगी देवी, नारायण मिश्र, वासुदेव मिश्र, आद्या नारायण, अवध नारायण सिंह, जय श्री सिंह, महेश सिंह, वाली सिंह, खिद्दीर उर्फ जगदेव, रामनारायण उर्फ छिनौती सिंह, बाबूनंदन, चरित्वर, भगवंता यादव, भगवती, रामकृपाल मौर्य, लुप्पूर मौर्या, वासदेव सिंह, वंशराज सिंह, श्रीनारायण, देवमूर्ति शर्मा, रामकरन यादव विपल पाल ने आजादी की लड़ाई में बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया था।

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