वाराणसी : मोबाइल की रोशनी में हुई गंगा आरती, अंधेरे में भी झलकी आस्था, व्यवस्था पर उठे सवाल 

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वाराणसी। प्राचीन नगरी काशी का अस्सी घाट एक बार फिर आस्था, सहयोग और समर्पण की मिसाल बना। गुरुवार शाम गंगा आरती के दौरान अचानक बिजली गुल हो गई। हालांकि, इस तकनीकी बाधा ने न तो श्रद्धालुओं की श्रद्धा को कम किया और न ही आरती की परंपरा को रोक पाई। मोबाइल की रोशनी में गंगा आरती हुई। इससे व्यवस्था पर भी सवाल खड़े हो गए। 

घाट पर रोज की तरह बड़ी संख्या में श्रद्धालु और देश-विदेश से आए सैलानी उपस्थित थे। जैसे ही घड़ी ने 6:45 बजे का समय पार किया, घाट की सारी बत्तियां अचानक गुल हो गईं। बिजली विभाग के अनुसार, स्थानीय ट्रांसफार्मर में फॉल्ट आने से यह समस्या उत्पन्न हुई, जिसे ठीक करने में करीब डेढ़ घंटा लग गया और रात 8:15 बजे बिजली बहाल हो सकी।

लेकिन, तब तक घाट पूरी तरह अंधेरे में डूबा रहा। इस मुश्किल घड़ी में उपस्थित श्रद्धालुओं और आयोजकों ने हार नहीं मानी। सभी ने अपने मोबाइल की फ्लैशलाइट जलाकर घाट को रौशन किया और आरती को पूरी श्रद्धा और विधिविधान के साथ संपन्न कराया।

इस अनोखी आरती ने न सिर्फ स्थानीय लोगों को बल्कि पहली बार आए पर्यटकों को भी भावविभोर कर दिया। स्थानीय निवासी विकास पांडेय ने बताया, "आस्था के इस रूप को देखकर मन भावुक हो गया। यह दिखाता है कि जब इरादे मजबूत हों, तो कोई बाधा बड़ी नहीं होती।"

कई पर्यटकों ने इस अद्भुत क्षण को अपने कैमरों में कैद किया, जो अब सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। कुछ पर्यटकों ने इसे "आध्यात्मिक रूप से अनोखा और अविस्मरणीय अनुभव" बताया। हालांकि इस घटना ने बिजली व्यवस्था की खामियों को भी उजागर कर दिया है। जिस काशी को स्मार्ट सिटी और सांस्कृतिक धरोहर के रूप में विकसित किया जा रहा है, वहां गंगा आरती जैसे प्रमुख आयोजन के दौरान बिजली कट जाना लापरवाही को दर्शाता है।

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