जुलाई में शुरू होगा देश के पहले अर्बन-रोपवे का ट्रायल-रन, 15 मिनट में होगा कैंट से गोदौलिया तक का सफर, एक बार में जा सकेंगे इतने यात्री

ropeway in varanasi
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वाराणसी। देश की पहली अर्बन रोप-वे ट्रांसपोर्ट सुविधा जुलाई में कैंट से रथयात्रा तक ट्रायल रन करने की तैयारी है। अभी तक पहले चरण का कुल 80 प्रतिशत काम पूरे हो गया है। पहले चरण में कैंट से रथयात्रा के बीच कुल 18 टावर बनाए जाने हैं।  दूसरे चरण में गिरजाघर से गोदौलिया के बीच काम शुरू किया जा रहा है। शहर में कुल 28 टावर लगाए जायेंगे। पहले फेज के ट्रायल के बाद जल्द ही यात्रियों के लिए यह सुविधा शुरू हो जायेगी। इस सुविधा के तहत 750 यात्री 15 मिनट में कैंट से गोदौलिया पहुंचकर बाबा विश्वनाथ और मां गंगा का दर्शन सुगम तरीके से कर सकेंगे। 

ट्रायल रन से पहले सुरक्षा पर विशेष ध्यान 

नेशनल हाईवे लॉजिस्टिक्स मैनेजमेंट लिमिटेड की प्रबंधक पूजा मिश्रा का कहना है कि ट्रायल रन से पहले सुरक्षा का विशेष ध्यान रखा जा रहा है, इसलिए जल्दबाजी नहीं की जा रही है। उन्होंने बताया कि रोपवे की कुल दूरी 3.85 किलोमीटर होगी जो करीब 15 मिनट में तय हो पाएगी। उन्होंने बताया कि इस प्रोजेक्ट को कुल 807 करोड़ रुपए की लागत से पूरा काम पूरा किया जाना है। उन्होंने बताया कि रोप-वे में कुल टोटल 148 गोंडोला का संचालन होना है। 10 से अधिक गोंडोला आ चुकी हैं। 

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प्रति घंटे 3000 यात्री सफर कर सकेंगे

रोपवे की कुल लंबाई 3.75 किमी होगी। इसमें पांच स्‍टेशन बनाए जाएंगे, लेकिन चढ़ने उतरने के लिए चार स्‍टेशन ही होंगे। पांचवां स्‍टेशन तकनीकी कारणों से बनाया जाएगा। इन चार स्‍टेशनों में पहला कैंट रेलवे स्‍टेशन होगा, जहां से रोपवे शुरू हो रहा है, दूसरा विद्यापीठ, तीसरा रथयात्रा और चौथा, अंतिम स्‍टेशन गोदौलिया होगा। रोपवे की केबल कार पर प्रति घंटे 3000 यात्री सफर कर सकेंगे। लोगों की संख्‍या बढ़ाने के साथ केबल कारों की संख्‍या बढ़ाई जाएगी। शुरुआती दौर में 300 यात्री प्रति घंटे सफर कर सकेंगे। इस रोपवे में 10 सीटों वाली केबल कार चलाने की तैयारी है। शुरूआत में कुल 18 केबल कार रोपवे में चलेंगी। हालांकि रोपवे का डिजाइन ऐसा किया जाएगा कि केबल कार की संख्‍या जरूरत के अनुसार बढ़ाई जा सके।

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जुलाई के अंतिम सप्ताह में पहले फेज का होगा ट्रायल रन 

वाराणसी विकास प्राधिकरण के वीसी पुलकित गर्ग ने बताया जुलाई के अंतिम सप्ताह तक रोपवे का ट्रायल रन होगा। उसके बाद पर्यटक यात्रा कर सकेंगे। उन्होंने बताया कि सुरक्षा का पूरा ध्यान रखा जाएगा जिसकी पूरी देखरेख कार्यदाई संस्था कर रही है। उन्होंने बताया कि एक दिशा में एक घंटे में 3000 लोग यात्रा कर सकेंगे यानी दोनों दिशाओं में एक घंटे में छह हजार यात्रियों का आवागमन होगा। गोदौलिया से कैंट रेलवे स्टेशन पहुंचने में लगभग 16 मिनट लगेगा। एक ट्रॉली में 10 यात्री सवार हो सकते है। फिल्हाल ट्रायल रन के बाद यह निर्णय लिया जाएगा कि यात्रियों के लिए या सुविधा कब शुरू किया जाए। 

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रोपवे की खासियत -

- 150 फीट ऊंचाई से गुजरेगा रोपवे का गोंडोला।
- 148 गोंडोला कैंट से गोदौलिया तक चलेंगे। 
- हर 10 सेकंड में एक गोंडोला मिलेगा। 
- 15 मिनट में कैंट से गोदौलिया तक का रूट तय होगा।
- कुल पांच रोपवे स्टेशन बनाए जाने हैं, जिनमें कैंट भारत माता मंदिर, विद्यापीठ रथ यात्रा गिरिजाघर और गोदौलिया शामिल हैं।
- 24 मार्च 2023 को पीएम मोदी ने इसकी आधारशिला रखी थी।

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