Sawan 2025 : यादव बंधुओं ने बीएचयू विश्वनाथ मंदिर में किया जलाभिषेक, वर्षों पुरानी परंपरा निभाई

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वाराणसी। सावन के पवित्र महीने में दूसरे सोमवार को वाराणसी के सबसे ऊंचे शिखर वाले बीएचयू विश्वनाथ मंदिर में भक्तों की भीड़ उमड़ी। लोगों ने दर्शन-पूजन और जलाभिषेक कर महादेव से सुख-समृद्धि का आशीर्वाद मांगा। सीर गोवर्धन के यादव बंधुओं ने भी भोलेनाथ का भव्य जलाभिषेक किया। लगभग 20,000 यादव बंधुओं ने इस प्राचीन परंपरा को निभाते हुए महादेव का गंगाजल से अभिषेक किया। इस दौरान मंदिर परिसर 'हर-हर महादेव' के उद्घोष से गूंज उठा।

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दशकों पुरानी परंपरा का निर्वहन
यादव बंधुओं का यह समूह सुबह-सुबह अस्सी घाट से गंगाजल लेकर केदार घाट पहुंचा और वहां से बीएचयू के विश्वनाथ मंदिर में जलाभिषेक के लिए प्रस्थान किया। सीर गोवर्धनपुर के सुनील कुमार यादव ने बताया कि यह परंपरा दशकों से चली आ रही है। उन्होंने कहा, "1962 में जब बीएचयू का विश्वनाथ मंदिर बनकर तैयार हुआ, तभी से हम सावन के पहले सोमवार को पुराने विश्वनाथ मंदिर और दूसरे सोमवार को बीएचयू के विश्वनाथ मंदिर में जलाभिषेक करते हैं।"

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नंगे पांव, श्रद्धा के साथ जलाभिषेक
वार्ड नंबर 23 के प्रसाद राम सिंह ने बताया कि हजारों की संख्या में यादव बंधु सीर गोवर्धनपुर से नंगे पांव, हाथों में कलश लेकर अस्सी घाट पहुंचते हैं। वहां गंगा स्नान के बाद कलश में गंगाजल भरकर बीएचयू के विश्वनाथ मंदिर में जल चढ़ाते हैं। उन्होंने कहा, "यह परंपरा कई वर्षों से चली आ रही है, जिसे हम पूरे श्रद्धा-भाव से निभाते हैं। हमारी कामना है कि भोलेनाथ सभी की मनोकामनाएं पूरी करें।"

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मंदिर में भक्तों की भारी भीड़
सावन के इस पवित्र अवसर पर मंदिर में दर्शन-पूजन के लिए आस्थावानों की लंबी कतारें लगी रहीं। सुबह से ही मंदिर के बाहर भक्तों की भीड़ देखी गई, और परिसर भक्ति-मय माहौल से सराबोर रहा। यादव बंधुओं के इस जलाभिषेक ने न केवल परंपरा को जीवंत रखा, बल्कि काशी की सांस्कृतिक और धार्मिक विरासत को भी और मजबूत किया।

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