मोहनसराय ट्रांसपोर्ट योजना से प्रभावित किसानों पर लाठीचार्ज पर भड़के राजनीतिक दल

किसानों के आंदोलन में कांग्रेस और सपा भी कूदी
वाराणसी। मोहनसराय ट्रांसपोर्ट नगर योजना के खिलाफ और अपनी जमीन बचाने के लिए 21 साल से लड़ाई लग रहे किसानों के साथ मंगलवार को जो कुछ हुआ उससे समाज के विभिन्न तबकों के लोगों में प्रतिक्रिया है। उनका कहना है कि 21 साल तक आंदोलन करनेवाले किसानों ने कभी इस आंदोलन को लोकतांत्रिक अधिकारों से इतर हटने नही दिया। लेकिन मंगलवार को प्रशासनिक अफसरों की मौजूदगी में जो तांडव हुआ वह आश्चर्यजनक है।
देश में महान नेता बननेवाले कभी किसानों को अन्नदाता कहते थे। आज उन्हीं के राज में किसान और उनके परिवार के लोगों पर अत्याचार हो रहा है। सरकार मूकदर्शक बनी हुई है। इनमें से अधिकतर नेताओं का कहना था कि पिछले 21 साल में जो नही हुआ प्रशासन की हठधर्मिता के कारण वह दिन देखना पड़ गया। इसके साथ ही इस आंदोलन में अब कांग्रेस पार्टी भी कूद पड़ी है। वाराणसी संसदीय क्षेत्र के पूर्व सांसद व कांग्रेस नेता राजेश मिश्र समेत विभिन्न दलों के लोगों ने किसानों पर लाठीचार्ज के विरोध में राजातालाब तहसील परिसर स्थित राजनारायण पार्क में धरना दिया।
धरने में सपा जिलाध्यक्ष सुजीत यादव समेत अन्य नेता शामिल रहे। इस अवसर पर किसान संघर्ष समिति के मीडिया प्रभारी वीरेंद्र उपाध्याय ने कहाकि किसानों के साथ जो कुछ हुआ वह बेहद निंदनीय है। 21 साल से अनवरत चल रहे इस आंदोलन में आज तक ऐसी घटनाएं नहीं हुई थी। अन्नदाताओं के साथ खुलेआम अन्याय किया जा रहा है। न्यायालय में लंबित याचिका के निर्णय तक प्रशासन को न्याय होने का इंतजार करना चाहिए था। राजस्व परिषद के पूर्व आडिटर व किसान हरिदास यादव ने कहाकि ट्रांसपोर्ट नगर योजना के सम्बंध में उच्च न्यायालय में याचिका लंबित है। इसके निर्णय आने तक प्रशासन को इंतजार करना चाहिए था। जो किसान अपनी जमीन नहीं देना चाहते हैं या मुआवजा नहीं लिए हैं, उनके साथ वार्ता करनी चाहिए थी। किसानों पर बर्बरता पूर्वक लाठीचार्ज कर प्रशासन के तानाशाही रवैये को उजागर कर रहा हैं। इसकी घोर निंदा होनी चाहिए।
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