वाराणसी में नेहा सिंह राठौर के खिलाफ उबाल, PM मोदी पर अपमानजनक टिप्पणी से आक्रोश, FIR की मांग

वाराणसी। लोकगायिका नेहा सिंह राठौर एक बार फिर विवादों के केंद्र में हैं। वाराणसी की स्वयंसेवी संस्था हनुमान सेना ने उनके खिलाफ गंभीर आरोप लगाते हुए लंका थाने में ज्ञापन सौंपकर कार्रवाई की मांग की है। आरोप है कि नेहा सिंह राठौर लगातार वाराणसी के सांसद और देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के खिलाफ अपमानजनक वीडियो बनाकर उन्हें "कायर" और "जनरल डायर" जैसे शब्दों से संबोधित कर रही हैं। इन वीडियो को कथित तौर पर पाकिस्तान में वायरल किया जा रहा है, जिसे स्थानीय लोग देश की प्रतिष्ठा पर हमला और देशद्रोह मान रहे हैं।
सैकड़ों की संख्या में लंका थाने पहुंचे लोगों ने इंस्पेक्टर शिवाकांत मिश्रा को ज्ञापन सौंपा। ज्ञापन में कहा गया कि नेहा सिंह राठौर के वीडियो पाकिस्तानी मीडिया और टेलीविजन पर खूब चलाए जा रहे हैं, जिससे वाराणसी की जनता की भावनाएं आहत हुई हैं। प्रदर्शनकारियों ने दावा किया कि कुछ "देशद्रोही तत्व" नेहा को आर्थिक मदद देकर उनके वीडियो को वायरल करने में सहयोग कर रहे हैं।
ज्ञापन में चेतावनी दी गई है कि यदि नेहा सिंह राठौर के खिलाफ देशद्रोह की धाराओं में मुकदमा दर्ज नहीं किया गया तो वाराणसी की जनता सड़कों पर उतरकर आंदोलन करेगी, जिससे कानून व्यवस्था बिगड़ सकती है। प्रदर्शनकारियों ने मांग की कि नेहा के खिलाफ तत्काल FIR दर्ज कर कठोर कार्रवाई की जाए।
लंका थाने में ज्ञापन सौंपने वालों में स्थानीय लोग, भाजपा समर्थक और सामाजिक कार्यकर्ता शामिल थे। एक प्रदर्शनकारी ने कहा, "PM मोदी न सिर्फ वाराणसी के सांसद हैं, बल्कि देश के गौरव हैं। उनके खिलाफ इस तरह की टिप्पणी बर्दाश्त नहीं की जाएगी।"
इंस्पेक्टर शिवाकांत मिश्रा ने ज्ञापन स्वीकार करते हुए कहा कि शिकायत की जांच की जाएगी और कानून के अनुसार उचित कार्रवाई होगी। हालांकि, अभी तक इस मामले में कोई FIR दर्ज नहीं हुई है।
पहले भी विवादों में रही हैं नेहा
नेहा सिंह राठौर इससे पहले भी अपने गीतों और सोशल मीडिया पोस्ट के जरिए केंद्र सरकार और PM मोदी पर निशाना साधती रही हैं। हाल ही में पहलगाम आतंकी हमले को लेकर उनके एक वीडियो ने तूल पकड़ा था, जिसमें उन्होंने सरकार की नीतियों पर सवाल उठाए थे। इस वीडियो के पाकिस्तान में वायरल होने के बाद लखनऊ के हजरतगंज थाने में उनके खिलाफ देशद्रोह और IT एक्ट की विभिन्न धाराओं में FIR दर्ज की गई थी।
नेहा ने इन आरोपों का जवाब देते हुए कहा था कि उनके बयानों को गलत तरीके से पेश किया जा रहा है और सवाल उठाना उनका संवैधानिक अधिकार है। उन्होंने यह भी दावा किया था कि सोशल मीडिया की कोई सीमा नहीं होती, इसलिए उनके वीडियो के वायरल होने की उन्हें जानकारी नहीं थी।
विवाद ने लिया सियासी रंग
इस घटना ने राजनीतिक हलकों में भी हलचल मचा दी है। जहां एक ओर भाजपा समर्थक नेहा के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग कर रहे हैं, वहीं विपक्षी दलों के कुछ नेता इसे अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता से जोड़कर देख रहे हैं। सोशल मीडिया पर भी नेहा सिंह राठौर के समर्थन और विरोध में पोस्ट की बाढ़ आ गई है। एक X पोस्ट में यूजर ने लिखा, "नेहा सिंह राठौर का वीडियो पाकिस्तान में वायरल होना देश के लिए शर्मिंदगी है।" वहीं, कुछ यूजर्स ने उनके सवाल उठाने के अधिकार का समर्थन किया।
आगे क्या?
यह विवाद वाराणसी में लंबा खिंच सकता है, क्योंकि स्थानीय लोग और संगठन इस मुद्दे को लेकर मुखर हैं। दूसरी ओर, नेहा सिंह राठौर ने अभी तक इस ताजा शिकायत पर कोई सार्वजनिक बयान नहीं दिया है। क्या यह मामला कानूनी कार्रवाई की ओर बढ़ेगा या सियासी ड्रामे में तब्दील हो जाएगा, यह आने वाले दिनों में साफ होगा। फिलहाल, वाराणसी की सड़कों पर गुस्सा और आंदोलन की चिंगारी सुलग रही है, और सभी की निगाहें पुलिस की अगली कार्रवाई पर टिकी हैं।