ज्ञानवापी: शंकराचार्य के पूजा-पाठ का अधिकार दिए जाने की याचिका पर टली सुनवाई, अब 28 फरवरी को जिला जज करेंगे सुनवाई
प्रकरण के मुताबिक शंकराचार्य अविमुक्तेश्वरानंद के शिष्य शैलेन्द्र योगीराज सरकार ने दो अगस्त 2023 को वाद दाखिल कर कहा कि सावन में ज्ञानवापी परिसर में प्रकट आदिविश्वेश्वर (शिवलिंग की आकृति) की पूजा-अर्चना और राग-भोग की मांग की। हिन्दुओं के लिए श्रावण में शिव-पूजा का विशेष महत्व है।
याचिका के मुताबिक, हिन्दू लोग इस माह में मिट्टी का पार्थिव शिवलिंग बनाकर पूजा करते हैं। जबकि एएसआई सर्वे के दौरान ज्ञानवापी परिसर में साक्षात शिवलिंग (आकृति) दिखाई पड़ा है। सुप्रीम कोर्ट के आदेश ड्रयूली प्रोटेक्शन के आदेश के तहत मूर्ति को पूजा पाने का अधिकार मिलना चाहिए। इसलिए आकृति के पूजा-पाठ का अधिकार दिया जाए।
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