दशाश्वमेध घाट पर 70 दिनों बाद पारंपरिक स्थान पर शुरू हुई गंगा आरती, गूंजा घंट-घड़ियाल, उमड़े पर्यटक
वाराणसी। गंगा सेवा निधि की ओर से दशाश्वमेध घाट पर होने वाली विश्व प्रसिद्ध गंगा आरती 70 दिनों के बाद अपने पारंपरिक स्थान पर हुई। इस दौरान पर्यटकों की भीड़ उमड़ी। गंगा का जलस्तर बढ़ने के चलते आरती का स्थल बदल दिया गया था। गंगा आरती छत पर हो रही थी।
अगस्त माह में गंगा का जलस्तर तेजी बढ़ा। गंगा चेतावनी बिंदु को पार कर गईं। इससे तटवर्ती इलाके में दुश्वारियां बढ़ गईं। गंगा आरती स्थल को हटाकर पहले पीछे किया गया। हालांकि जलस्तर में लगातार वृद्धि को देखते हुए छत पर आरती कराई जाने लगी। लगभग 70 दिनों तक परिवर्तित स्थान पर गंगा आरती हुई।
अब गंगा का जलस्तर सामान्य है। ऐसे में गुरुवार से पारंपरिक स्थान पर आरती शुरू हो गई। दशाश्वमेध घाट पर घंट घड़ियाल शंखनाद, घंटी, डमरू की आवाज और मां गंगा के जयकारे के बीच मां गंगा की आरती की भव्य आरती की गई। इस दौरान विधिविधान से भागीरथी का पूजन कर समाज में शांति और समृद्धि की कामना की गई। इस दौरान गंगा सेवा निधि के अध्यक्ष सुशांत मिश्रा, कोषाध्यक्ष आशीष तिवारी, सचिव हनुमान यादव समेत बड़ी संख्या में श्रद्धालु और सैलानी मौजूद रहे।
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