चारधाम यात्रा : मीनाक्षी सुंदरम बोले, बिना पंजीकरण यमुनोत्री-गंगोत्री धाम न आएं तीर्थयात्री
-ऋषिकेश और डामटा बैरियर पर पुलिस सख्ती से कराए पंजीकरण का पालन
-बिना पंजीकरण के डंडी-कंडी, घोड़ा-खच्चरों के संचालन रोक लगाने के निर्देश
देहरादून/उत्तरकाशी, 15 मई (हि.स.)। सचिव मुख्यमंत्री आर मीनाक्षी सुंदरम ने बुधवार को यमुनोत्री-गंगोत्री यात्रा व्यवस्थाओं का जायजा लिया। उन्होंने तीर्थ यात्रियों से बिना पंजीकरण धाम में न आने की अपील की और यात्रा कंट्रोल रूम के हेल्पलाइन नंबरों का ज्यादा प्रचार प्रसार करने पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि 42 सीटर बसों को संकरे मार्गों से पहले सुरक्षित स्थान पर रोक दिया जाए। साथ ही यात्रा रूट पर वैकल्पिक पार्किंग स्थलों को विकसित करने पर ध्यान देने को कहा है।
सचिव मुख्यमंत्री आर मीनाक्षी सुंदरम और महानिदेशक सूचना बंशीधर तिवारी बुधवार को यमुनोत्री और गंगोत्री धाम में रिकॉर्ड तीर्थयात्रियों के पहुंचने से उत्पन्न स्थिति पर उत्तरकाशी पहुंचे हैं। यहां आईटीबीपी मातली के सभाकक्ष में यमुनोत्री और गंगोत्री धाम की यात्रा व्यवस्थाओं की जिले के अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक की। इस दौरान सचिव ने कहा कि रिकॉर्ड यात्रियों के पहुंचने से यात्रा मार्गों पर जाम और दबाव बढ़ रहा है।
उन्होंने पुलिस-प्रशासन को निर्देश देते हुए कहा कि बिना पंजीकरण धामों की यात्रा करने वालों से सख्ती से निपटें और सीधा चेकिंग बैरियर से वापस भेजें। इसके लिए बैरियरों और अन्य स्थानों पर सख्ती से चेकिंग की जाए। उन्होंने यमुनोत्री धाम में बिना पंजीकरण के डंडी-कंडी, घोड़ा-खच्चरों के संचालन पर भी प्रभावी रोक लगाने के निर्देश दिए हैं।
उन्होंने साफ कहा कि बगैर पंजीकरण के किसी को भी धाम में न जाने दिया जाए। इसके लिए बैरियर पर सख्ती से जांच-पड़ताल कर ऐसे यात्रियों और वाहनों को सीधे वापस भेजें। इसके अलावा पंजीकरण तिथि से पहले और बाद में भी पंजीकरण को कतई स्वीकार न करें। उन्होंने निर्देश दिए कि यात्रा कंट्रोल रूम, आपदा प्रबंधन कंट्रोल रूम और पुलिस कंट्रोल रूम के फोन नम्बरों का ज्यादा से ज्यादा प्रचार प्रसार करें।
उन्होंने यात्रा रूट पर सुरक्षित और अतिरिक्त पार्किंग स्थल विकसित करने के निर्देश दिए। साथ ही कहा कि जिन स्थानों पर सड़क संकरी हैं, वहां 42 सीटर और बड़ी बसों को पहले रोक दें। ताकि जाम की स्थिति पैदा न हो। बैठक में जिलाधिकारी डॉ. मेहरबान सिंह बिष्ट ने कहा कि यमुनोत्री धाम में हर दिन 10 हजार से ज्यादा यात्री पहुंच रहे हैं। इसी तरह गंगोत्री धाम में 12 हजार से अधिक यात्री आ रहे हैं। दोनों धामों में क्षमता से अधिक यात्री आ रहे हैं।
यात्रियों की संख्या निर्धारित की जाए तो स्थिति सामान्य हो जाएगी-
जिलाधिकारी ने सुझाव दिया कि यमुनोत्री और गंगोत्री की धारण क्षमता और सड़कों की स्थिति के अनुसार यात्रियों की संख्या निर्धारित की जाए तो स्थिति सामान्य हो जाएगी। इससे न तो जाम लगेगा और न ही अन्य व्यवस्थाओं में समस्या होगी। जिलाधिकारी ने यात्रियों की सुविधा के लिए प्रशासन के द्वारा भोजन,पानी की व्यवस्था और मेडिकल शिविरों की जानकारी दी।
तीर्थयात्रियों से बातचीत कर यात्रा का लिया फीडबैक-
बैठक के बाद सचिव आर मीनाक्षी सुंदरम ने जिलाधिकारी डॉ. मेहरबान सिंह बिष्ट और पुलिस अधीक्षक अर्पण यदुवंशी और मुख्य विकास अधिकारी जयकिशन के साथ हर्षिल, धराली, भैरवघाटी और गंगोत्री धाम में यात्रा व्यवस्था देखने गए। यहां तीर्थयात्रियों से भी प्रमुख सचिव ने बातचीत कर यात्रा का फीडबैक लिया। साथ ही श्री पांच गंगोत्री मंदिर समिति के पदाधिकारियों से मुलाकात कर बैठक की।
मंदिर समिति यात्रा व्यवस्था में करेगा सहयोग-
सचिव ने मंदिर समिति को तीर्थयात्रियों की व्यवस्था एवं अन्य समस्याओं पर बातचीत की। इस दौरान मंदिर समिति से भी रिकॉर्ड यात्रियों के आने पर सहयोग की अपेक्षा की गई। मंदिर समिति के अध्यक्ष हरीश सेमवाल ने प्रमुख सचिव को भरोसा दिया कि वह यात्रा व्यवस्था में पूरा सहयोग कर रहे हैं। धाम में सभी व्यवस्थाएं ठीक हैं। उन्होंने संकरे मार्ग को चौडीकरण, प्रमुख पड़ावों पर पार्किंग स्थल बनाने का सुझाव दिया ताकि वाहनों का दवाव बढ़ने पर सुरक्षित पार्किंग कराई जाए।
बैठक में पुलिस अधीक्षक अर्पण यदुवंशी,एडीएम रज़ा अब्बास, एसडीएम डुंडा नवाजिश खालिक, सीएमओ डॉ. बीएस रावत,जनपद आपदा प्रबंधक अधिकारी देवेंद्र पटवाल सहित बीआरओ के कमांडर विवेक श्रीवास्तव भी मौजूद रहे।
हिन्दुस्थान समाचार/राजेश/रामानुज
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