मप्र के कूनो राष्ट्रीय उद्यान के जंगल से सड़क पर आए दो चीतों में से एक को अज्ञात वाहन ने कुचला, मौत

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मप्र के कूनो राष्ट्रीय उद्यान के जंगल से सड़क पर आए दो चीतों में से एक को अज्ञात वाहन ने कुचला, मौत


मप्र के कूनो राष्ट्रीय उद्यान के जंगल से सड़क पर आए दो चीतों में से एक को अज्ञात वाहन ने कुचला, मौत


ग्वालियर, 07 दिसम्बर (हि.स.)। मध्य प्रदेश के श्योपुर जिले में स्थित कूनो राष्ट्रीय उद्यान में स्वच्छंद घूम रहे दो चीते रविवार को जंगल से निकलकर सड़क पर आ गए। इसी दौरान आगरा-मुंबई नेशनल हाइवे (शिवपुरी लिंक रोड) पर घाटीगांव सिमरिया मोड़ पर एक तेज रफ्तार अज्ञात वाहन ने एक चीते को कुचल दिया, जिससे उसकी मौके पर ही मौत हो गई।

सूचना मिलते ही घाटीगांव थाना पुलिस और वन विभाग के अफसरों ने मौके पर पहुंचकर घटनास्थल को निगरानी में ले लिया है। चीते के शव को कूनो पहुंचाया जा रहा है, जहां, एक्सपर्ट्स का पैनल पोस्टमॉर्टम करेगा। वहीं, वन विभाग की टीम दूसरे चीते की तलाश मे जुट गई है।

कूनो के खुले जंगल में विचरण के लिए छोड़े गए दो चीते रविवार सुबह करीब 5 से 6 बजे के बीच सड़क पर आ गए थे। सैटेलाइट कॉलर आईडी से लगातार चीतों पर नजर रखी जा रही थी। जैसे ही सड़क हादसा हुआ, कूनो के अधिकारियों की इसकी सूचना मिल गई और वे तत्काल मौके पर पहुंच गए। इस दौरान घटनास्थल पर भारी भीड़ जमा हो गई, लेकिन वन विभाग के अधिकारियों ने पुलिस तक को पास नहीं आने दिया। पूरी कार्रवाई वन विभाग के अधिकारी ही कर रहे हैं। बताया गया है कि जिस चीते की मौत हुई है, उसका नाम नाम केजीबी-3 (मादा) है। उसका जन्म कूनो नेशनल पार्क में ही हुआ था। यह गामिनी का शावक बताया जा रहा है।

वन विभाग के अधिकारियों ने बताया कि गामिनी नामक मादा चीता के दो शावक केजीबी-3 और केजीबी-4 कूनो के जंगल से निकलकर घाटीगांव के जंगल में पहुंच गए थे। दोनों की लोकेशन घाटीगांव के सिमरिया मोड के आसपास आ रही थी। कूनो से वन विभाग की टीम लगातार उनका पीछा कर रही थी। शनिवार शाम को सिमरिया इलाके में एक गाय पर दोनों चीतों ने हमला किया था, जिसमें गाय की मौत हो गई थी। तभी से वन विभाग की टीम उन पर नजर रख रही थी। रविवार तड़के 5 बजे के लगभग वह घाटीगांव के जंगल से निकलकर आगरा-मुंबई नेशनल हाइवे पर सड़क पार कर दूसरी तरफ जा रहे थे कि तभी एक तेज रफ्तार अज्ञात वाहन ने एक चीता को टक्कर मार दी। टक्कर इतनी तेज थी कि चीता हाइवे किनारे गिरा और उसने मौके पर ही दम तोड़ दिया। घटना के बाद जब चीता पड़ा लोगों ने देखा तो पुलिस और वन विभाग को सूचना दी। इसके बाद कूनो प्रबंधन और वन विभाग के अधिकारी मौके पर पहुंचे और चीते के शव को अपनी निगरानी में ले लिया। अब कूनो नेशनल पार्क में एक्सपर्ट द्वारा चीते का पोस्टमार्टम किया जाएगा। वहीं, वन विभाग की टीम द्वारा शावक केजीबी-4 की तलाश की जा रही है।

घाटीगांव एसडीओपी शेखर दुबे ने बताया कि रविवार सुबह करीब पांच बजे चीता घाटीगांव के सेमरिया मोड़ के पास आगरा-मुंबई नेशनल हाइवे पर पहुंच गया था। इसी बीच किसी अज्ञात वाहन ने उसे टक्कर मार दी, जिसकी वजह से वह उछल कर हाइवे के किनारे पर जा गिरा। हाइवे पर चीते का खून बिखरा हुआ है। घायल शावक किसी तरह झाड़ियों में गया होगा और वहीं उसने दम तोड़ दिया।

गौरतलब है कि बीते 48 घंटों में ये दूसरे चीते की मौत है। इससे पहले शुक्रवार शाम को भी मादा चीता वीरा का एक शावक जंगल में मृत मिला था, जिसे उसकी मां और एक भाई के साथ एक दिन पहले यानी गुरुवार को चीता दिवस के मौके पर कूनो नेशनल पार्क से आजाद किया गया था। अगले ही दिन उसका शव जंगल में मिला था। चीता प्रोजेक्ट के क्षेत्र निदेशक उत्तम कुमार शर्मा ने बताया कि रविवार को हुई चीता शावक की मौत के बाद कूनो नेशनल पार्क में चीतों की कुल संख्या अब 27 रह गई है। इनमें 8 वयस्क चीते (5 मादा और 3 नर) और भारत में जन्मे 19 शावक शामिल हैं। पार्क के अन्य सभी चीते स्वस्थ बताए गए हैं।

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हिन्दुस्थान समाचार / मुकेश तोमर

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