(लीड) इंडिगो पर सरकार सख्त, उड़ानों में 10 फीसदी की कटौती, रिफंड, लगेज और यात्री सुविधा को लेकर सख्त आदेश
नई दिल्ली, 09 दिसंबर (हि.स)। इंडिगो संकट पर सरकार ने सख्त कार्रवाई की है। नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने एयरलाइन को उड़ानों में 10 फीसदी की कटौती करने का आदेश दिया है। इसके साथ ही कंपनी को ये कहा गया है कि वो यात्रियों सुविधाओं को ध्यान में रखते हुए रिफंड और लगेज जल्द से जल्द वापस लौटाए।
केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री के राम मोहन नायडू ने मंगलवार को ‘एक्स’ पोस्ट पर जारी एक बयान में कहा कि देशभर में बड़े पैमाने पर फ्लाइट कैंसिल की अफरा-तफरी के बीच ऑपरेशन को स्थिर करने के लिए केंद्र ने इंडिगो के रूट्स में 10 फीसदी की कटौती की है। इससे पहले इंडिगो के मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) पीटर एल्बर्स ने राम मोहन नायडू से मुलाकात की। इस मुलाकात के दौरान पीटर एल्बर्स नागरिक उड्डयन मंत्री के सामने हाथ जोड़े नजर आए।
राम मोहन नायडू ने आगे लिखा, नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने इंडिगो को अपने कुल रूट्स में 10 फीसदी की कटौती करने का ऑर्डर दिया है। उन्होंने कहा कि इससे एयरलाइन के ऑपरेशन्स को स्टेबल करने और आगे कैंसिलेशन कम करने में मदद मिलेगी। उन्होंने कहा कि पिछले हफ्ते इंडिगो के क्रू-मेंबर रोस्टर, फ़्लाइट शेड्यूल और कम्युनिकेशन की कमी के कारण कई यात्रियों को बहुत परेशानी हुई। इसको लेकर जहां जांच और जरूरी कार्रवाई चल रही है, वहीं, एयरलाइन के टॉप मैनेजमेंट के साथ स्टेबिलाइजेशन उपायों का रिव्यू करने के लिए एक और बैठक हुई।
मंत्री ने बताया कि इंडिगो के सीईओ पीटर एल्बर्स को अपडेट देने के लिए मंत्रालय में बुलाया गया था। उन्होंने कन्फर्म किया कि 06 दिसंबर तक जिन फ़्लाइट्स पर असर पड़ा था, उनके 100 फीसदी रिफंड पूरे हो गए हैं। इसके बाद बाकी रिफंड और बैगेज हैंडओवर को तेजी से पूरा करने का सख्त निर्देश दिया गया। उन्होंने कहा कि इंडिगो को बिना किसी छूट के मंत्रालय के सभी निर्देशों का पालन करने का निर्देश दिया गया है, जिसमें किराया तय करना और यात्रियों की सुविधा के उपाय शामिल हैं।
इससे पहले नागर विमानन महानिदेशालय (डीजीसीए) ने इंडिगो एयरलाइन की शीतकालीन उड़ानों में 5 फीसदी की कटौती करने का निर्देश जारी किया था। नियामक ने कहा कि इस कटौती से एयरलाइन की लगभग 110 उड़ानें रोज कम होंगी। देश की सबसे बड़ी एयरलाइन कंपनी इंडिगो प्रतिदिन करीब 2,200 उड़ानें संचालित करती है।
------------------
हिन्दुस्थान समाचार / प्रजेश शंकर

