ओडिशा के बालेश्वर में गोहत्या के संदेह में दो समुदायों में झड़प के बाद भड़की हिंसा, बेमियादी कर्फ्यू लगाया गया
भुवनेश्वर, 18 जून (हि.स.)। ओडिशा के बालेश्वर में गोहत्या के संदेह में दो समुदायों के बीच हुई झड़प के बाद भड़की हिंसा और आगजनी की घटनाओं के बाद कर्फ्यू लगा दिया गया। यह फैसला सोमवार दोपहर से देररात तक हुए उपद्रव के बाद बिगड़े हालात के मद्देनजर लिया गया। प्रशासन ने शहर के सभी प्रवेश द्वारों को सील कर दिया है। अगले आदेश तक सभी दुकानें, बाजार, स्कूल और कॉलेज बंद रहने के आदेश दिए गए हैं।।
एसपी (बालेश्वर) सागरिका नाथ का कहना है कि स्थिति को नियंत्रित करने के लिए पूरे शहर में अनिश्चितकालीन कर्फ्यू लगाया गया है। उन्होंने नागरिकों से घरों से बाहर न निकलने की अपील की। एक-दूसरे को मारने-काटने पर आमादा भीड़ ने गोलापोखरी, मोतीगंज और सिनेमा चौक में जमकर हिंसा की है। उपद्रवियों ने कई मोहल्लों में तांडव करते हुए घरों पर पथराव किया। स्थिति को नियंत्रित करने के लिए पुलिस को कड़ी मशक्कत करनी पड़ी। पूर्वी रेंज के आईजीपी डॉ. दीपक कुमार और एसपी सागरिका नाथ ने हिंसाग्रस्त क्षेत्रों का दौरा किया है। पूर्व केंद्रीय मंत्री और स्थानीय सांसद प्रताप चंद्र षडंगी और बालेश्वर सदर विधायक मानस दत्त ने लोगों से संयम बरतने की अपील की है।
प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, सोमवार दोपहर सुनहट मुख्य सड़क के किनारे नालियों का पानी लाल होता देख स्थानीय लोगों ने संदेह जताया कि यह गोवंश का रक्त है। स्थानीय लोगों ने यह देखकर नाराजगी जताई और विरोध किया। इससे दो समुदायों के कुछ लोगों के बीच तकरार के बाद टकराव की स्थिति उत्पन्न हुई । इस संबंध में एक शिकायतकर्ता से सूचना मिलने पर पुलिस और मीडिया प्रतिनिधि वहां पहुंचे।
बताया गया है कि इस दौरान सैकड़ों मुस्लिम एकत्र हो गए और शिकायतकर्ताओं पर हमला कर दिया। उन पर पत्थर व कांच की बोतलें फेंकीं। स्थिति को नियंत्रित करने पहुंची पुलिस टीम को भी इन लोगों ने निशाना बनाया। इनके हमले में एडिशनल एसपी अनिल प्रधान, एसडीपीओ डॉक्टर शशांक शेखर बेउरा, डीएसपी ब्रजमोहन प्रधान, दो अन्य पुलिस अधिकारी व तीन कांस्टेबल गंभीर रूप से घायल हो गए। इस दौरान हुए पथराव से 10 से अधिक निर्दोष राहगीर घायल हो गए। इतना ही नहीं बाइक, स्कूटर व चारपहिया वाहनों को रोककर भी हमला किया गया। कुछ मीडिया प्रतिनिधियों पर हमला कर उनके भी कैमरे तोड़ दिए गए। यह बवाव करीब दो घंटे तक चला।
मुख्यमंत्री मोहन चरण माझी ने हालात पर बालेश्वर के जिला मजिस्ट्रेट से चर्चा की। माझी ने कहा कि किसी भी परिस्थिति में शांति एवं कानून व्यवस्था की स्थिति को खराब नहीं होने दिया जाएगा। ओडिशा शांतिप्रिय राज्य है। उन्होंने सभी से शांति बनाए रखने की अपील की है।
हिन्दुस्थान समाचार/समन्वय/मुकुंद
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