शर्मिन सहगल ने बतौर आर्टिस्ट साबित किया अपना हुनर कहा 'मैं हमेशा आभारी रहूंगी'
बज़ गर्ल ऑफ़ द ईयर बनी शर्मिन सहगल ने संजय लीला भंसाली की फिल्म 'हीरामंडी-द डायमंड बाज़ार' से अपना ओटीटी डेब्यू किया। उन्हें अपने इंटरव्यू के लिए ट्रोलिंग और आलोचना का सामना करना पड़ा, जहाँ लोगों ने जानबूझकर उनकी प्रतिष्ठा को नुकसान पहुँचाने के लिए उन्हें निशाना बनाया और गलत बाते कही।
बहुत ट्रोलिंग और आलोचना का सामना करने के बावजूद, शर्मिन सहगल के ओटीटी डेब्यू ने उनके आलोचकों को चुप कराने के साथ ही उनके करियर को बढ़ावा दिया है। संजय लीला भंसाली की मच अवेटेड सीरीज़ ने आलमज़ेब के शानदार किरदार के रूप में उनकी वापसी कराई है, जो उनके लिए किसी गेमचेंजर से कम नहीं है।
हीरामंडी को मिल रही प्यार को लेकर अपनी खुशी व्यक्त करते हुए, शर्मिन सहगल ने कहा, मुझे दिल से बहुत खुशी होती है देख कर कि हीरामंडी को दुनिया भर से इतना प्यार मिल रहा है। मैं हमेशा आभारी रहूंगी कि मैं इस जादुई दुनिया का हिस्सा बानी। ये देखना कमाल की बात है कि ग्लोबल लेवल पर यह एक बेंचमार्क क्रिएट कर रहा है। मैं उम्मीद करती हूं कि ये प्यार वक्त के साथ और भी बढ़े।
अब जब हीरामंडी - द डायमंड बाज़ार नेटफ्लिक्स की Q2 2024 की अर्निंग्स रिलीज़ के साथ सुर्खियां बना रहा है, वहीं शर्मिन को इस ओटीटी डेब्यू के जरिए जो कमर्शियल सफलता हासिल हुई है, उसने उनके करियर पर स्पॉटलाइट डाल दी है। जैसे-जैसे वह इस सफलता के साथ आगे बढ़ती जा रही हैं, वैसे वैसे उनकी यह यात्रा यह दर्शाती है कि कैसे टेलेंट के जरिए जीत हासिल की जा सकती है, चाहे रास्ते में कितनी भी मुश्किलें क्यों न हों।
'हीरामंडी' में शर्मिन की परफॉर्मेंस ने न सिर्फ ट्रोल्स और बिना मतलब की गॉसिप्स को बंद कर दिया है, बल्कि सीरीज को सफलता के नए लेवल तक ले जाने में भी मदद की है। 'हीरामंडी - द डायमंड बाज़ार' की जबरदस्त सफलता ने व्यूअरशिप के नए रिकॉर्ड सेट किए हैं। यह दर्शाता है कि कैसे एक मजबूत, अच्छी तरह से निभाई गई भूमिका लोगों की धारणा बदल सकती है और नए अवसर पैदा कर सकती है।
हिन्दुस्थान समाचार / लोकेश चंद्र दुबे / सुनीत निगम
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