जन्मदिन (20 मार्च) : 'मेरे अंगने में...' गाने से शोहरत की बुलंदियों पर पहुंचीं थीं अलका याग्निक

जन्मदिन (20 मार्च) : 'मेरे अंगने में...' गाने से शोहरत की बुलंदियों पर पहुंचीं थीं अलका याग्निक
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जन्मदिन (20 मार्च) : 'मेरे अंगने में...' गाने से शोहरत की बुलंदियों पर पहुंचीं थीं अलका याग्निक


गायिका अलका याग्निक का 20 मार्च 1966 को पश्चिम बंगाल, कोलकाता में जन्म हुआ था। इनकी माता का नाम शुभा याग्निक है और वो एक क्लासिकल सिंगर थीं। अलका गुजराती हिन्दू परिवार से आती हैं। अलका याग्निक एक भारतीय प्रसिद्ध पार्श्वगायिका हैं। ये अपनी गायिकी से सिनेमा में तीन दशकों तक राज किया है और संगीत के क्षेत्र में अपनी गायिकी का लोहा मनवाया है। अलका याग्निक को कई नेशनल अवार्ड और फिल्मफेयर अवार्ड से नवाज़ा जा चुका है।

सिनेमा के तीन दशकों तक पुराने करियर में इन्होंने एक से बढ़ कर एक गाने गाये हैं। लता और आशा के बाद अगर किसी का नाम लिया जाता है, तो वो अलका याग्निक हैं। अलका ने अपने करियर के दौरान हिंदी के अलावा उर्दू, गुजराती, अवधी, भोजपुरी, तमिल, तेलुगु और मलयालम भाषा में भी गाने गाये हैं। अलका ने शिल्लोंग के मशहूर बिज़नेसमैन नीरज कपूर के साथ वर्ष 1989 में शादी की थी। उनकी बेटी का नाम सयेशा है। 14 साल की छोटी सी उम्र में अलका ने फिल्म 'पायल की झंकार' के गाने 'थिरकत अंग लचक झुकी...' गीत से अपना डेब्यू किया। जिसके बाद वर्ष 1981 में आयी फिल्म 'लावारिस' के गाना 'मेरे अँगने में ...' ने उन्हें शोहरत की बुलंदियों तक पहुंचा दिया। साल 1988 आयी फिल्म 'तेजाब' के गाने 'एक दो तीन...' के लिए इन्हे पहली बार फिल्मफेयर अवार्ड मिला। इन्होंने जानी मानीं कई बड़ी-बड़ी फिल्मों के लिए गाने गाये और आज अलका एक विख्यात हस्ती हैं, जिनके गाये हुए गाने लोग आज भी बेहद पसंद करते हैं।

हिन्दुस्थान समाचार/ लोकेश चंद्रा/सुनील

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