कौशल विकास एवं उद्यमिता मंत्रालय और स्विगी के बीच एमओयू पर हुए हस्ताक्षर
नई दिल्ली, 07 सितंबर (हि.स.)। कौशल विकास एवं उद्यमिता मंत्रालय (एमएसडीई) और ऑन-डिमांड सुविधा प्लेटफॉर्म स्विगी ने एक अनूठी निजी सार्वजनिक भागीदारी (पीपीपी) के तहत इस क्षेत्र में कार्यबल के नए अवसर पैदा करने और उन्हें गति देने के लिए ‘स्विगी स्किल्स’ पहल की शुरुआत की है। इसके लिए कौशल विकास एवं उद्यमिता मंत्रालय और स्विगी ने शनिवार को नई दिल्ली के कौशल भवन में आयोजित कार्यक्रम में एक समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए हैं।
इस समझौते के अवसर पर कौशल विकास एवं उद्यमिता राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) जयंत चौधरी ने अपने संबोधन में कहा कि ‘लॉजिस्टिक्स में वृद्धि की अपार संभावनाएं हैं। इस क्षेत्र में 300 से अधिक पहल की जा रही हैं तथा 80 लाख करोड़ रुपये का निवेश किया जा रहा है। कौशल विकास एवं उद्यमिता मंत्रालय ने जारी बयान में कहा कि सरकार के विकसित भारत 2047 दृष्टिकोण के अनुरूप ये समझौता किए गए हैं।
मंत्रालय के मुताबिक इस भागीदारी का उद्देश्य एमएसडीई योजनाओं और कार्यक्रमों के तहत कुशल युवाओं के लिए रोजगार के अवसर पैदा करना और स्विगी के साझेदार नेटवर्क के लिए कौशल, पुर्नकौशल और कौशल उन्नयन के अवसर प्रदान करना है। यह पहल रेस्तरां संचालन और खुदरा प्रबंधन के विभिन्न पहलुओं में लोगों के लिए रोजगार, इंटर्नशिप और प्रशिक्षण के अवसर प्रदान करेगी।
मंत्रालय ने कहा कि स्विगी कौशल पहल के तहत स्विगी पार्टनर प्लेटफॉर्म को स्किल इंडिया डिजिटल हब (SIDH) के साथ एकीकृत किया जाएगा, जो स्विगी के कर्मचारियों को ऑनलाइन कौशल विकास पाठ्यक्रम, प्रमाणन और प्रशिक्षण मॉड्यूल तक पहुंच प्रदान करेगा। इस साझेदारी से स्विगी से जुड़े 2.4 लाख डिलीवरी पार्टनर और रेस्तरां पार्टनर के कर्मचारियों को लाभ होगा।
इस साझेदारी पर हस्ताक्षर के बाद अपने संबोधन में स्विगी फूड मार्केटप्लेस के सीईओ रोहित कपूर ने कहा, हम अपने भागीदारों के ऐप में एमएसडीई के स्किल इंडिया डिजिटल हब (एसआईडीएच) के साथ एकीकृत करने की योजना बना रहे हैं, जिससे करीब 2.4 लाख डिलीवरी पार्टनर और हमारे 2 लाख रेस्तरां भागीदारों के कर्मचारी आसानी से ऑनलाइन कौशल विकास पाठ्यक्रम, ऑफ़लाइन प्रमाणन और प्रशिक्षण मॉड्यूल तक पहुंच सकेंगे।
उल्लेखनीय है कि स्विगी और कौशल विकास एवं उद्यमिता मंत्रालय 2.4 लाख से अधिक डिलीवरी पार्टनर्स के कौशल विकास में सहायता करने तथा खाद्य सेवाओं और त्वरित वाणिज्य उद्योग में 8 हजार से अधिक युवाओं के लिए रोजगार के अवसर सृजित करने के लिए एक साथ आ रहे हैं।
हिन्दुस्थान समाचार / प्रजेश शंकर
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